सीबीआई ने पंजाब के पूर्व डीजीपी मोहम्मद मुस्तफा, उनकी पत्नी रजिया सुल्ताना और अन्य के खिलाफ उनके बेटे अकील अख्तर (35) की “हत्या” के मामले में एफआईआर दर्ज की है। अकील अख्तर 16 अक्टूबर को हरियाणा के पंचकूला में संदिग्ध परिस्थितियों में मृत पाए गए थे। अधिकारियों ने यह जानकारी दी। एफआईआर के अनुसार, मृतक और उसके परिवार के बीच असंतोष पनप रहा था।

सीबीआई के एक प्रवक्ता ने देर रात जारी एक बयान में कहा, “केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) ने 6 नवंबर को अकील अख्तर हत्याकांड में एफआईआर दर्ज की है। एफआईआर इस आरोप पर दर्ज की गई है कि पंजाब के पूर्व डीजीपी मोहम्मद मुस्तफा और पंजाब की पूर्व लोक निर्माण मंत्री रजिया सुल्ताना के बेटे अकील अख्तर, जो वर्तमान में पंचकूला के मनसा देवी मंदिर के पास सेक्टर 4 में रहते हैं, की 16 अक्टूबर को संदिग्ध परिस्थितियों में मौत हो गई।”

पोस्टमार्टम रिपोर्ट में क्या मिला

बता दें कि पूर्व डीजीपी मोहम्मद मुस्तफा के बेटे की संदिग्ध परिस्थितियों में मौत हो गई थी, जिसकी जांच की जा रही है। पोस्टमार्टम की आंतरिक रिपोर्ट में अखिल अख्तर के दाये बाजू में कोहनी के करीब 7 सेंटीमीटर नीचे सिरिंज का निशान मिला है। शुरुआती पोस्टमार्टम रिपोर्ट में इस बात का खुलासा हुआ है कि अकील ड्रग्स का आदी था लेकिन वो किस तरह का ड्रग लेता था और क्या ये ड्रग इंजेक्शन के माध्यम से लिया जाता था। इस पर कुछ भी नहीं कहा गया है।

अकील 18 साल से ड्रग्स की लत से जूझ रहा था- डीजीपी

वहीं, मुस्तफा ने अपने बेटे को खोने को “एक पिता के लिए सबसे बड़ा दुख” बताया और इस बात पर ज़ोर दिया कि अकील 18 साल से ड्रग्स की लत से जूझ रहा था। उन्होंने अपने बेटे की मौत का कारण ओवरडोज़ बताया, और गड़बड़ी के आरोपों को “छोटी राजनीति” बताया। उन्होंने कहा कि एक पिता के लिए अपने इकलौते बेटे को खोने से बड़ा कोई दर्द नहीं होता। मुस्तफा ने कहा कि मैं जांच में पूरा सहयोग करूंगा…अगर मैं दोषी हूं, तो मैं फांसी पर चढ़ने को तैयार हूं।