Rajasthan News: मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा ने कहा कि राजस्थान में निवेश की अपार संभावनाएं हैं। हमारी सरकार निवेशकों के लिए हर स्तर पर मदद कर अनुकूल वातावरण तैयार करेगी जिससे देश-विदेशों से अधिकतम निवेश राज्य में आए तथा राजस्थान देश में सबसे बड़े ‘इन्वेस्टमेंट हब’ के रूप में उभरे।

सीएम मंगलवार को मुख्यमंत्री कार्यालय में राजस्थान इन्वेस्टमेंट समिट-2024 की तैयारियों को लेकर उच्चस्तरीय बैठक को संबोधित कर रहे थे। उन्होंने अधिकारियों को निर्देश दिए कि आगामी राजस्थान इन्वेस्टमेंट समिट-2024 के सफल क्रियान्वयन के लिए सभी अधिकारी पूरे मनोयोग से जुट जाएं तथा इस ऐतिहासिक आयोजन की प्रत्येक गतिविधि की नियमित मॉनिटरिंग करें। उन्होंने कहा कि समिट में होने वाले विभिन्न एमओयू को केवल कागजों पर ही न रहकर धरातल पर उतारा जाए।

मुख्यमंत्री ने अधिकारियों को निर्देशित किया कि सभी विभाग आपसी समन्वय के साथ इस आयोजन का भव्य क्रियान्वयन सुनिश्चित करें। आगामी समिट में आने वाले सभी निवेशकों के आतिथ्य सत्कार में कोई कमी नहीं रहनी चाहिए। उन्होंने कहा कि प्रचार-प्रसार किसी भी आयोजन की सफलता का मुख्य आधार होता है। अधिकारी प्रचार-प्रसार के लिए बेहतरीन कार्ययोजना बनाएं जिससे वैश्विक स्तर पर यह आयोजन चर्चा का विषय बने।

मुख्यमंत्री ने कहा कि सभी उद्योगों को एक ही छत के नीचे सभी प्रकार की निवेश संबंधी सुविधाएं देने के लिए सिंगल विंडो का प्रभावी क्रियान्वयन सुनिश्चित किया जाए। सिंगल विंडो के लिए विभाग द्वारा अलग से पूरा सिस्टम तैयार किया जाए जिससे उद्यमियों को निवेश में किसी भी तरह की समस्या का सामना नहीं करना पड़े। उन्होंने अधिकारियों को निर्देश दिए कि संसाधनों का समुचित उपयोग कर निवेश संबंधी प्रकरणों का समयबद्ध निस्तारण सुनिश्चित करें।

सीएम ने कहा कि देश के यशस्वी प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी द्वारा एक ही छत के नीचे मार्केट प्लेस उपलब्ध कराने के उद्देश्य से देशभर में ‘पीएम एकता मॉल’ बनाए जा रहे हैं। इसके तहत जयपुर में भी शीघ्र राजस्थान यूनिटी मॉल का निर्माण किया जाएगा। इसके निर्माण से गुणवत्तापूर्ण स्वदेशी उत्पादों को बढ़ावा मिलेगा तथा ग्रामीण कारीगरों को भी उनके उत्पाद बेचने में मदद मिलेगी। सीएम शर्मा ने अधिकारियों को निर्देश दिए कि राज्य में बनने जा रहे इस यूनिटी मॉल का निर्माण आमजन की सुगम पहुंच को देखते हुए किया जाए जिससे अधिकतम लोग इस मॉल तक पहुंचे तथा मेक इन इंडिया एवं एक जिला-एक उत्पाद की अवधारणा को बढ़ावा मिले।

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