Rajasthan Politics: महात्मा गांधी इंग्लिश मीडियम स्कूलों के लिए समीक्षा समिति गठित करने के फैसले के बाद राजस्थान की राजनीति गरमा गई है। कांग्रेस ने सरकार पर आरोप लगाया है कि वह इन इंग्लिश मीडियम स्कूलों को बंद करना चाहती है। इस मुद्दे पर अब बीजेपी प्रदेश अध्यक्ष मदन राठौड़ ने कांग्रेस को आड़े हाथों लिया और शिक्षा व्यवस्था को लेकर कड़े आरोप लगाए।

कांग्रेस पर बीजेपी के आरोप

मदन राठौड़ ने कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष गोविंद सिंह डोटासरा के बयानों पर पलटवार करते हुए कहा कि कांग्रेस की शिक्षा नीति अव्यवहारिक और तात्कालिक वाहवाही लूटने वाली थी। उन्होंने आरोप लगाया कि कांग्रेस ने बिना पर्याप्त इंफ्रास्ट्रक्चर और प्रशिक्षित शिक्षकों के जल्दबाजी में इंग्लिश मीडियम स्कूल खोल दिए।

राठौड़ ने कहा, दूरदराज के गांवों में हिंदी मीडियम स्कूलों को बंद कर उन्हें इंग्लिश मीडियम में बदलना कांग्रेस का अव्यवहारिक फैसला था। कांग्रेस ने न तो बच्चों की बुनियादी शिक्षा की चिंता की और न ही उनकी जरूरतों का ध्यान रखा। अगर कांग्रेस को बच्चों की सच में फिक्र होती, तो वह पहली कक्षा से ही अंग्रेजी का आधार मजबूत करती।

बीजेपी की शिक्षा को लेकर रणनीति

मदन राठौड़ ने कहा कि भजनलाल शर्मा सरकार ने इस समस्या को हल करने के लिए समीक्षा समिति का गठन किया है।

समिति के कार्य :

  • बच्चों का शैक्षणिक आधार मजबूत हो।
  • स्कूलों में बेहतर इंफ्रास्ट्रक्चर और सुविधाएं उपलब्ध कराई जाएं।
  • इंग्लिश मीडियम के लिए योग्य शिक्षकों की नियुक्ति हो।
  • उन्होंने यह भी दावा किया कि बीजेपी सरकार ने शिक्षा क्षेत्र में केवल एक साल में कई महत्वपूर्ण फैसले लिए हैं, जिनसे बच्चों का भविष्य बेहतर होगा।

कांग्रेस ने सरकार पर साधा निशाना

प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष गोविंद सिंह डोटासरा ने सरकार के इस निर्णय की आलोचना करते हुए पूछा कि समीक्षा समिति बनाने में एक साल क्यों लग गया। उन्होंने कहा कि नई शिक्षा नीति (एनईपी) में स्थानीय भाषाओं और अंग्रेजी का संतुलन बनाए रखने की बात है, लेकिन बीजेपी सरकार की नीयत साफ नहीं है।

उन्होंने कहा कि एक साल तक कमेटी क्यों नहीं बनाई गई? ये लोग सोते रहे और अब बच्चों के भविष्य के साथ खिलवाड़ करने का प्रयास कर रहे हैं। सरकार को स्थानीय और अंग्रेजी भाषा को समान रूप से बढ़ावा देना चाहिए, लेकिन इनके मन में खोट है।

पढ़ें ये खबरें