राकेश चर्तुेवदी, भापोल। मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान बुधवार को बाबा विश्वनाथ की नगरी काशी प्रवास के दौरान आज सुबह श्री संकट मोचन मंदिर पहुंचे। यहां उन्होंने भगवान हनुमान के दर्शन किए और भक्ति में लीन हो गए। श्रीराम भक्ति में रमे शिवराज सिंह चैहान ने सीता-राम, सीता-राम का जाप किया। सीएम शिवराज ने कहा कि वाराणसी आकर मन अपार आनंद में डूब गया। उन्होंने कहा कि अब हम संकट मोचन हनुमान जी के दर्शन कर रामलला के दर्शन करने अयोध्या जा रहे हैं।
मुख्यमंत्री ने वाराणसी के संकट मोचन हनुमान मंदिर में बल बुद्धि के दाता, कंटकों-संकटों का समूल नाश करने वाले महाबली हनुमान जी के दर्शन कर देश सहित मध्यप्रदेशवासियों की सुख-समृद्धि एवं मंगल की कामना की।
नासे रोग हरे सब पीरा
जो सुमिरे हनुमत बलबीरामुख्यमंत्री श्री @ChouhanShivraj ने आज वाराणसी के संकट मोचन हनुमान मंदिर में
बल बुद्धि के दाता, कंटकों-संकटों का समूल नाश करने वाले महाबलि हनुमान जी के दर्शन कर देश सहित मध्यप्रदेशवासियों की सुख-समृद्धि एवं मंगल की कामना की। pic.twitter.com/6LiHn25fP0— CMO Madhya Pradesh (@CMMadhyaPradesh) December 15, 2021
इस अवसर पर उन्होंने कहा कि कभी स्वामी विवेकानंद ने जिनका नाम नरेद्र था उनने कहा था कि सुदीर्घ रजनी समाप्त हुई जान पड़ती है। महानिशा का अंत निकट है। जो अंधे है देख नहीं सकते। बहरे सुन नहीं सकते। भारत माता फिर से आंखें खोल रही हैं और भारत विश्व गुरू के पद पर अधिष्ठित हो रही है। एक नरेंद्र ने कहा था, दूसरे प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कर के दिखा दिया। आध्यात्म का अनुभव काशी में आकर होता है। बाबा विश्वनाथ काशी का दर्शन किए हैं तो कोतवाल का दर्शन जरूरी है। संकटमोचन हनुमान जी के दर्शन किए। अब रामलला के दर्शन होंगे। तीन दिनों तक माहआनंद में डूबे रहे। उन्होंने कहा कि काशी कॉरीडोर का निर्माण न केवल भव्य है बल्कि राष्ट्रीय पुनर्निर्माण का प्रतीक है।
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