अमृतांशी जोशी, भोपाल। आयुष्मान भारत योजना (ayushman bharat yojana) में फर्जीवाड़ा का मामला सामने आने के बाद वैष्णो अस्पताल (Vaishno Hospital) की मान्यता निरस्त कर दी गई है। भोपाल सीएमएचओ डॉक्टर प्रभाकर तिवारी ने वैष्णो अस्पताल की मान्यता निरस्त की। सीएमएचओ ने नर्सिंग होम एक्ट के तहत अस्पताल की मान्यता निरस्त करने का आदेश जारी किया। 27 मई को अस्पताल निरीक्षण के दौरान गड़बड़ियां पाई गई थी।

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आयुष्मान भारत में फ़र्ज़ीवाड़े और मान्यता निरस्त होने को लेकर मंत्री विश्वास सारंग ने कहा कि ये काफ़ी ज़्यादा ज़रूरी प्रक्रिया है। आगे जो भी इसके अंतर्गत आते हैं उन पर कार्रवाई सुनिश्चित होगी। किसी भी अस्पताल से अगर ऐसी ख़बर आती है तो हम वहां पर ज़रूरी जांच करते हैं। आगे भी ऐसे कई मामले सामने आए तो कार्रवाई की जाएगी और ये प्रक्रिया लगातार चलती रहेगी।

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बता दें कि अस्पताल में ऐसे मरीजों के इलाज का भी क्लेम आयुष्मान योजना से लिया गया था जो कभी अस्पताल में भर्ती हुए ही नहीं। इस मामले में आयुष्मान भारत निरामयम योजना के जीएम ऑपरेशन डॉ. पद्माकर त्रिपाठी ने भोपाल क्राइम ब्रांच में शिकायत दर्ज कराई थी। उनकी शिकायत पर क्राइम ब्रांच ने इस अस्पताल के मालिक विवेक परिहार के खिलाफ मामला पंजीबद्ध कर जांच की थी। जांच में फर्जी मरीजों के नाम से बिल लगाकर सरकार से फर्जीतौर पर करोड़ों रुपए प्राप्त करने का खुलासा हुआ था। 

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