मास्को। रूस ने मास्‍को में आयोजितएयर शो MAKS-2021 में अपना नया लड़ाकू विमान ‘चेकमेट’ पेश किया. रूस ने इस लड़ाकू विमान को भारत की आवश्यकता को देखते हुए बनाया है. भारत के आने वाले दिनों में 114 लड़ाकू विमान खरीदने की तैयारी कर रहा है, ऐसे में यह विमान प्रतिद्वंदी विमानों की तुलना में ज्यादा बेहतर दावेदार साबित हो सकता है.

रूस ने इस विमान को सुखोई-57 की तकनीक पर बनाया है. एक इंजन वाला सुखोई चेकमेट विमान अपने अंदर हथियारों को छिपाए रखता है, जिससे उसके रेडॉर पर पकड़े जाने की संभावना नहीं रहती है. इसी वजह से इसे पांचवीं पीढ़ी का लड़ाकू विमान कहा जा रहा है. इस विमान में आर-73 एंटी एयर मिसाइल, आर-77 एंटी एयर मिसाइल और केएच-59 एमके एंटी शिप क्रूज मिसाइल लगाई जाएगी. यह विमान 2.2 मैक की स्‍पीड से 54 हजार फुट की ऊंचाई पर उड़ान भर सकेगा.

रूस का यह अत्‍याधुनिक लड़ाकू विमान अमेरिका के एफ-35 विमान को जोरदार टक्‍कर देगा. रूसी अधिकारियों ने बताया कि एक सुखोई चेकमेट फाइटर जेट की कीमत करीब ढाई से तीन करोड़ डॉलर होगी. वहीं अमेरिका का एक एफ-35 विमान 8 करोड़ डॉलर में बिक रहा है. सुखोई का कहना है कि विमान का प्रोटोटाइप वर्ष 2023 में उड़ान भरेगा और इसकी आपूर्ति वर्ष 2026 में शुरू हो सकती है. यही नहीं इस नए मॉडल को बिना पायलट वाले विमान या दो सीटों वाले लड़ाकू विमान में बदला जा सकता है.

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रूस ने चेकमेट का ऑफर भारत को भी दिया है. एयर शो में विमान को लांच करते समय बताया गया कि इसे निर्यात के लिए बनाया है. इस विमान को संयुक्‍त अरब अमीरात, भारत, वियतनाम और आर्जेंटीन को बेचा जा सकता है. सुखोई चेकमेट के संबंध में रूस के उप प्रधानमंत्री यूरी बोरिसोव ने कहा कि इसे निश्चित रूप से अफ्रीकी देशों, भारत और वियतनाम के लिए बनाया गया है. इस तरह के विमान के लिए मांग बहुत ज्‍यादा है. हमारा अनुमान है कि आने वाले भविष्‍य में 300 से ज्‍यादा फाइटर जेट बेचे जाएंगे.