विकास कुमार/सहरसा। शहर में बुधवार का दिन एक अलग ही ऊर्जा लेकर आया। नशा मुक्ति दिवस के अवसर पर स्थानीय प्रेक्षा गृह में जुटी जीविका दीदियों की भीड़ इस बात का प्रमाण थी कि समाज बदलाव की ओर बढ़ना चाहता है। मंच पर बैठे अधिकारी हों या दर्शक दीर्घा में बैठी महिलाएं—हर चेहरे पर एक ही भाव था अपने परिवार और समाज को नशे की गिरफ्त से बचाना।
CM के संबोधन को ध्यान से सुनती रहीं महिलाएं
कार्यक्रम के दौरान मुख्यमंत्री का अभिभाषण लाइव स्ट्रीमिंग के जरिए दिखाया गया। बड़ी संख्या में पहुंची जीविका दीदियां पूरे ध्यान से स्क्रीन पर नजरें टिकाए रहीं। कई महिलाएं आपस में चर्चा करती दिखीं कि नशा किस तरह परिवारों को तोड़ देता है और बच्चों पर इसका सीधा असर पड़ता है। उनके चेहरों पर उम्मीद साफ झलक रही थी कि सरकार के अभियान से लोगों में जागरूकता बढ़ेगी।
अधिकारियों ने दिया समाज बदलने का संदेश
जिलाधिकारी दीपेश कुमार, उप विकास आयुक्त संजय कुमार निराला जिला पंचायत राज पदाधिकारी सुनैना कुमारी, वरीय उप समाहर्ता सह विशेष कार्य पदाधिकारी राजू कुमार, सहायक आयुक्त मद्य निषेध और डीपीएम (जीविका) इस कार्यक्रम में मौजूद थे। मंच से बार-बार यही संदेश दिया गया कि नशा सिर्फ व्यक्ति को नहीं, बल्कि पूरे परिवार और समाज को खोखला करता है। अधिकारियों ने लोगों से अपील की कि वे इस मुहिम को सिर्फ सरकारी कार्यक्रम न समझें, बल्कि इसे अपने जीवन का हिस्सा बनाएं।
जागरूकता के साथ भावनात्मक जुड़ाव भी
कार्यक्रम में नशे के दुष्परिणामों पर विस्तृत जानकारी दी गई। कई जीविका दीदियों ने कहा कि वे अपने गांवों में महिलाओं और युवाओं को जागरूक करने के लिए आगे काम करेंगी। समूचा कार्यक्रम एक प्रशासनिक आयोजन से ज्यादा भावनात्मक जुड़ाव का मंच लगता रहा।
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