सुप्रिया पांडेय, रायपुर। छत्तीसगढ़ सरकार ने अलग कृषि कानून बनाने का ऐलान किया है. राज्य सरकार के इस घोषणा पर सांसद सुनील सोनी ने पलटवार किया है. सोनी ने कहा कि यह अपने आप में मजाक है. केंद्र कानून बनाती है तो सभी राज्यों को मानना होता है. लोगों को भ्रम व गुमराह कर सरकार चला रही है. सांसद ने कहा कि छत्तीसगढ़ की सरकार किसान विरोधी सरकार है. वे किस मुंह से कृषि बिल का विरोध कर रहे हैं. इन्होंने खुद कहा था कि सरकार बनेगी तो वे खुद कहते थे कि किसानों के लिए राज्य के अंदर सीमाओं को हटा देंगे. आज कहते है समर्थन मूल्य रहेगा तो आंदोलन वापस लेंगे. केंद्र ने समर्थन मूल्य तय कर दिया है. यदि वाकई सरकार किसान हितैषी है तो हम मांग करते है कि सरकार किसानों के बची हुई क़िस्त की राशि 72 घन्टे के अंदर उनके खाते में दे. मुख्यमंत्री जिस तरह से भंवरा चलाते हैं, उसी तरह से किसान क़िस्त के लिए, बेरोजगारों को रोजगार के लिए घूमा रहे हैं.
पुनिया ने लापरवाही की हदें पार की
सांसद सुनील सोनी ने प्रदेश कांग्रेस प्रभारी पीएल पुनिया के कोरोना संक्रमित होने पर लापरवाही बरतने का आरोप लगाया है. सोनी ने कहा कि पीएल पुनिया ने लापरवाही की सारे हदे पार की है. ये शर्मनाक घटना है. प्लेन में आते समय उन्हें नहीं पता था. उन्होंने टेस्ट करवाया कम से कम रिपोर्ट आने तक उन्हें रुकना था. लेकिन वे रुके नहीं सीधा चल दिये. उस प्लेन के अंदर जब वे गए होंगे तो कितने लोग परेशान होंगे. महामारी का जो कानून है सरकार बताए इसके दायरे में आते है या नहीं. और आते है तो कार्रवाई क्यों नहीं कर रहे.
आम आदमी के ऊपर लगातार कार्रवाई करते हैं टेम्परेचर ज्यादा होने पर आपको वापस भेज दिया जाता है, लेकिन पुनिया जी के लिए कोई कानून नहीं है, जो छत्तीसगढ़ के लिए शर्मनाक है वे दिल्ली में टेस्ट करवा रहे है. तो क्या छत्तीसगढ़ में गलत टेस्ट हुआ था?. पुनिया सभी मंत्री व सैकड़ों लोगों से मिले थे. सरकार को इसे संज्ञान में लेना चाहिए. लोगों को जान को खतरे में डाल कर यात्रा की है. सरकार इनको संज्ञान में ले कार्रवाई करे. एफआईआर दर्ज की जाए.