सुप्रिया पांडेय, रायपुर। शंकराचार्य निश्चलानंद सरस्वती ने हिजाब विवाद पर कहा कि नेता आएंगे तो सारी स्थिति समझेंगे, मेरे निर्णय को सुप्रीम कोर्ट भी नहीं काट सकता, विवाद चल रहा है, अभी मुंह खोलना मेरे लिए उचित नहीं है, कहीं बवंडर ना हो जाए, पहले परिस्थिति को समझेंगे.

धर्म संसद को लेकर शंकराचार्य ने कहा कि धर्म संसद को लेकर अशोक सिंघल मेरे पास 70 बार आए, उन्होंने धर्म संसद की स्थापना की थी, लेकिन अब भाजपाई, कांग्रेसी, सपा-बसपा हैं, सब यही चाह रहे हैं कि धर्म संसद वो चलाए, पर यह तो कूटनीति है. कूटनीति आपस में ज्यादा दिन तक नहीं चलती. यह तो सनातन परंपरा है. इसमें कोई आने का प्रयास करेगा तो आंच की चपेट में वे स्वयं आ जाएंगे.

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