भारतीय शेयर बाजार आज एक बार फिर दबाव में नजर आया. हफ्ते के तीसरे कारोबारी दिन शुरुआती तेजी के बाद अचानक बिकवाली हावी हो गई. सेंसेक्स लगभग 100 अंक फिसलकर 80,617 के स्तर पर कारोबार कर रहा है, जबकि निफ्टी में भी 57 अंकों की गिरावट देखी गई और यह 24,600 के करीब है.

सेंसेक्स के 30 में से 19 शेयर लाल निशान में हैं. रियल्टी, आईटी और फार्मा सेक्टर पर दबाव अधिक दिख रहा है. वहीं, अडाणी पोर्ट्स, एयरटेल और BEL जैसे कुछ शेयरों ने 2% तक की बढ़त दर्ज की है. दूसरी ओर, सनफार्मा, इंफोसिस और टेक महिंद्रा जैसे हैवीवेट्स में भी हल्की मजबूती देखी गई.
सेक्टोरल गिरावट ने बाजार की चाल बदली
NSE का रियल्टी इंडेक्स 2.6% से ज्यादा टूटा है, जो दिन की सबसे बड़ी गिरावट रही. इसके अलावा IT, मीडिया, मेटल, फार्मा और FMCG सेक्टर में भी 1% से ज्यादा की गिरावट देखी गई है. कुल मिलाकर बाजार का मूड कमजोर दिख रहा है, जहां निवेशक मुनाफा वसूली के मूड में नजर आ रहे हैं.
वैश्विक संकेतों से नहीं मिला बड़ा सहारा
एशियाई बाजारों में आज मिला-जुला रुख दिखा. जापान का निक्केई 0.62% ऊपर रहा, जबकि कोरिया का कोस्पी 0.20% नीचे बंद हुआ. हॉन्गकॉन्ग का हैंगसेंग और चीन का शंघाई कंपोजिट मामूली बढ़त के साथ बंद हुए. अमेरिकी बाजारों की बात करें तो 5 अगस्त को डाउ जोन्स 0.14% गिरा, जबकि नैस्डेक में 0.65% की गिरावट रही. S&P 500 0.49% ऊपर जरूर बंद हुआ, लेकिन उतार-चढ़ाव वहां भी जारी है.
FIIs vs DIIs: निवेशकों का रुख क्या कहता है?
- 5 अगस्त को विदेशी निवेशकों (FIIs) ने जहां 22.48 करोड़ के शेयर्स बेचे, वहीं घरेलू संस्थागत निवेशकों (DIIs) ने 3,840.39 करोड़ की जबरदस्त खरीदारी की.
- जुलाई महीने में FIIs ने कुल 47,666.68 करोड़ के शेयर्स बेचे हैं, जबकि DIIs ने इसी अवधि में 60,939.16 करोड़ की नेट खरीदारी की है. इससे यह साफ है कि घरेलू निवेशक बाजार में विश्वास बनाए हुए हैं, लेकिन विदेशी पूंजी का बहाव फिलहाल कमजोर बना हुआ है.
कल भी गिरावट से बंद हुआ था बाजार
5 अगस्त को भी बाजार ने कमजोरी के साथ क्लोजिंग दी थी. सेंसेक्स 308 अंक टूटकर 80,710 पर बंद हुआ था और निफ्टी 73 अंक गिरकर 24,650 पर. कल के मुकाबले आज गिरावट थोड़ी हल्की रही, लेकिन सेक्टोरल दबाव बढ़ता दिखा.
क्या ये सिर्फ कूलिंग है या बड़ा करेक्शन आने वाला है?
विशेषज्ञों का मानना है कि बाजार फिलहाल ज्यादा वैल्यूएशन पर है, और ऐसे में हर नकारात्मक संकेत पर मुनाफावसूली देखने को मिल रही है. IT और रियल्टी जैसे सेक्टरों की कमजोरी इस ओर इशारा करती है कि निवेशक सतर्क हो गए हैं. हालांकि घरेलू निवेशकों का भरोसा अभी भी मजबूत है, जिससे बाजार को कुछ सपोर्ट जरूर मिल रहा है.
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