Silver Investment Details: विदेशों में मजबूत रुख के बीच स्टॉकिस्टों और खुदरा विक्रेताओं की ओर से लगातार की जा रही खरीदारी के चलते सोने और चांदी के भाव हर दिन नए रिकॉर्ड बना रहे हैं. मंगलवार को चांदी 633 रुपये महंगी होकर पहली बार 1 लाख रुपये के पार जाकर 1,00,400 रुपये प्रति किलोग्राम के रिकॉर्ड स्तर पर पहुंच गई.

इस साल अब तक चांदी के भाव में 14,338 रुपये की तेजी देखने को मिली है. एचडीएफसी सिक्योरिटीज के कमोडिटी एंड करेंसी हेड अनुज गुप्ता के मुताबिक इसके भाव में और तेजी देखने को मिल सकती है. साल के अंत तक चांदी 1 लाख 8 हजार रुपये तक जा सकती है.
ऐसे में अगर आप चांदी में निवेश करने की योजना बना रहे हैं तो सिल्वर ईटीएफ सही विकल्प हो सकता है. सिल्वर ईटीएफ के जरिए आप शेयरों की तरह ही चांदी में निवेश कर सकते हैं. पिछले 1 साल में इसने 34 फीसदी तक का रिटर्न दिया है. यहां हम आपको आज सिल्वर ईटीएफ के बारे में बता रहे हैं…
सबसे पहले समझिए ईटीएफ क्या है?
शेयर की तरह चांदी खरीदने की सुविधा को सिल्वर ईटीएफ कहते हैं. ये एक्सचेंज-ट्रेडेड फंड हैं, जिन्हें स्टॉक एक्सचेंजों पर खरीदा और बेचा जा सकता है. चूंकि सिल्वर ईटीएफ का बेंचमार्क स्पॉट सिल्वर की कीमतें हैं, इसलिए आप इसे चांदी की वास्तविक कीमत के करीब खरीद सकते हैं.
सिल्वर ईटीएफ में निवेश के कई फायदे हैं
आप कम मात्रा में भी चांदी खरीद सकते हैं
ईटीएफ के जरिए चांदी को यूनिट में खरीदा जाता है. इससे कम मात्रा में या एसआईपी (सिस्टेमैटिक इन्वेस्टमेंट प्लान) के जरिए चांदी खरीदना आसान हो जाता है. सिल्वर ईटीएफ की 1 यूनिट की कीमत अभी 100 रुपये से भी कम है. यानी आप इसमें 100 रुपये से भी कम में निवेश शुरू कर सकते हैं.
चांदी सुरक्षित रहती है
इलेक्ट्रॉनिक सिल्वर डीमैट अकाउंट में होता है जिसमें सिर्फ सालाना डीमैट चार्ज देना होता है. साथ ही चोरी का डर भी नहीं रहता. वहीं फिजिकल सिल्वर में चोरी के जोखिम के अलावा इसकी सुरक्षा पर भी पैसा खर्च करना पड़ता है.
ट्रेडिंग में आसानी
सिल्वर ईटीएफ को बिना किसी परेशानी के तुरंत खरीदा और बेचा जा सकता है. यानी जब भी आपको पैसे की जरूरत हो, आप उसे बेच सकते हैं.
पोर्टफोलियो जोखिम में कमी
कोई व्यक्ति कम जोखिम वाली परिसंपत्तियों जैसे चांदी और सोना आदि में निवेश करके अपने पोर्टफोलियो में विविधता ला सकता है. इससे उसके निवेश पोर्टफोलियो में जोखिम कम हो जाता है.
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