प्रतीक चौहान. रायपुर. सीजीएमएससी (CGMSC) में पिछले दिनों हुआ खेल किसी से छिपा नहीं हैं. लेकिन अब विभाग में एक और खेल की तैयारी की चर्चा है. विभागीय सूत्र बताते है कि एमएमयू में टेंडर में ऐसे कुछ नियम शर्ते रखे गए है जिसका इम्प्लीमेंटेशन टेंडर के बाद नहीं होना है, लेकिन किसी अपने चहेते को फायदा पहुंचाने के लिए कुछ क्लॉउज रखे गए है. सूत्र बताते है कि प्री-बीड मीटिंग में 3 दिग्गज कंपनियों के लोगों ने उस नियम को लेकर अपनी आपत्ति दर्ज कराई, लेकिन सारी आपत्तियां विभागीय अधिकारियों ने दरकिनार कर दी.

 CGMSC के सूत्र बताते है कि मोबाइल मेडिकल यूनिट का 56 गाड़ियों के लिए टेंडर जारी किया गया है. ये टेंडर  Pradhan Mantri Janjati Adivashi Nyaya Maha Abhiyan (PM-JANMAN) से जुड़ा हुआ है और इन मोबाइल यूनिट्स को उन ट्राइबल इलाकों में रखा जाना है जहां स्वास्थ्य सुविधाएं कम है.

सूत्र बताते है कि इस टेंडर में PM-JANMAN के गाइडलाइन का पालन न करते हुए किसी विशेष कंपनी को फायदा पहुंचाने के लिए टेक्निकल प्वाईंट्स में बदलाव किया गया है, सूत्र का दावा है कि देश के दूसरे राज्यों में हुए उक्त टेंडर में ये नियम नहीं बदले गए थे. ये वो नियम है जिनका टेंडर के बाद पालन नहीं किया जाना है. यही कारण है कि इस टेंडर को लेकर खेल के कयास लगाए जा रहे है.

सूत्र बताते है कि प्रेजेंटेशन के नाम पर बिडर को 25 नंबरों का प्रावधान किया गया है. जबकि आंध्र प्रदेश में 1800 एमएमयू के टेंडर में प्रेजेंटेशन के नाम पर 10 नंबर दिए गए. यानी जिस कंपनी को अधिकारियों ने टेंडर देने की इच्छा रखी है उन्हें प्रेजेंटेशन के नाम पर अच्छ नंबर दिए जाने की संभावना है.

सूत्र ने बताया कि टेंडर डाक्यूमेंट के पेज नंबर 27 में Specific Experience of Healthcare Services Provision में कुछ ऐसे विशेष प्वाईंट्स डाले गए है जो इस बात की ओर इशारा करते है कि विभाग के उच्च अधिकारी किसी विशेष को संभवतः फायदा पहुंचाना चाहते है. संभवत: यही कारण भी है कि उक्त तकनीकी प्वाईंट्स के लिए 20 नंबरों तक का प्रावधान किया गया है.

इसके अलावा Conversion of Financial Bid Amount To Score का गणित भी ऐसे सेट किया गया है कि शासन को इसका नुकसान हो. स्पष्ट रूप से ऐसे समझे कि तो तकनीकी अर्हता मांगी गई है उसके नंबरों के आधार पर यदि एल 1 आने वाली कंपनी का रेट एल-2 से ज्यादा भी हो तो भी उसे ही ये टेंडर मिलेगा.

पूरे मामले की जानकारी लेंगे: स्वास्थ्य मंत्री

इस पूरे मामले में स्वास्थ्य मंत्री श्याम बिहारी जायसवाल से लल्लूराम डॉट कॉम ने उनका पक्ष लिया. उन्होने स्पष्ट कहा कि यदि ऐसा है तो वे पूरे मामले की जानकारी अधिकारियों से लेकर जांच कराएंगे. उन्होंने स्पष्ट कहा कि कोई भी टेंडर नियमों के विपरित अलॉट नहीं किया जाएगा.