रायपुर. भाजपा सरकार की राज्य में ‘अटलमय’ से नेता प्रतिपक्ष टीएस सिंहदेव बिफर गए हैं. उन्होंने लल्लूराम डॉट कॉम से बातचीत में कहा कि, भाजपा सरकार अटल जी के नाम को भुनाने में अति कर रही है. सभी मुख्य प्रतिष्ठानों का नाम अटल बिहारी वाजपेयी के नाम पर करना ठीक नहीं है. अगर ऐसा है तो राज्य का नाम भी अटलगढ़ क्यों नहीं कर देते…?

नेता प्रतिपक्ष टीएस सिंहदेव ने कहा कि, विपक्ष में भी कोई सम्मान के लायक नेता थे तो वे अटल बिहारी वाजपेयी जी थे. उनके दिवंगत होने पर विपक्ष के सभी बड़े नेताओं ने दुःख व्यक्त किया था. अब भाजपा सरकार विपक्ष को अटल जी के नाम पर भी जबरदस्ती का मुद्दा दे रही है.

सिंहदेव ने आगे कहा कि, भाजपा सरकार अटल जी के नाम पर अति कर रही है. अटल जी के सम्मान में पहले से गांव-गांव में अटल चौक तो बने ही हुए हैं. चूँकि अब रमन सरकार उनके नाम पर अतिरेक करने पर उतर आई है. सभी नगरों, चौक-चौराहों और मकानों का जब एक ही नाम ‘अटल’ कर दिया जाये, क्या ये सही होगा…?

बता दें कि रमन कैबिनेट ने आज पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी को श्रद्धांजलि देने के साथ शोक प्रस्ताव पारित किया है. 28 अगस्त तक सभी पंचायत से लेकर नगरीय निकाय में शोक प्रस्ताव का अनुमोदन किया जाएगा.

वहीं रमन सरकार अटल बिहारी वाजपेयी को लेकर कई बड़े फैसले लिए हैं. नया रायपुर का नाम अब अटल नगर के नाम से होगा. इसके साथ ही बिलासपुर विश्वविद्यालय का नाम भी अटल बिहारी वाजपेयी के नाम पर किया जाएगा. इसके साथ ही नैरो गैज, एक्सप्रेस वे का नामकरण भी अटल जी के नाम पर ही होगा. वहीं राजनांदगांव मेडिकल कॉलेज का नाम भी अटल जी के नाम पर होगा. साथ ही पुलिस बटालियन में एक ‘पोखरण बटालियन’ भी होगा. साथ हर साल राष्ट्रीय स्तर के एक कवि अटल जी के नाम पर सम्मानित किया जाएगा.