कोलंबो- ईस्टर पर हुए सीरियल बम धमाकों में एक मौलवी की भूमिका सामने आई थी. इसके मद्देनजर श्रीलंका ने अपने देश से 2 सौ मौलानाओं को बाहर निकाल दिया. साथ ही 6 सौ से ज्यादा विदेश नागरिकों को वापस भेज दिया. सरकार का कहना है कि सभी की वीजा समाप्त होने के बाद भी रह रहे थे. सुरक्षा जांच पड़ताल में पता चलने के बाद इन लोगों पर जुर्माना लगाकर देश से निष्कासित कर दिया गया.

श्रीलंका के गृह मंत्री वाजिरा अभयवर्द्धने ने कहा कि देश में सुरक्षा की स्थिति को ध्यान में रखकर हमने वीजा प्रणाली की समीक्षा की और धार्मिक शिक्षकों के लिए वीजा प्रतिबंध को कड़ा करने का निर्णय लिया. उन्होंने कहा निष्कासित किए गए लोगों में 200 मौलाना हैं. यही नहीं प्रशासन ने आम लोगों से अपील की है कि अपने घरों में रखी तलवारों और चाकुओं को सुरक्षा के मद्देनजर त्याग दें. श्रीलंका की पुलिस मीडिया यूनिट ने शनिवार को कहा कि जनता को रविवार तक तलवारों और चाकुओं को नजदीकी पुलिस स्टेशन में सौंप देने का समय दिया जाता है.

सोमवार को भारी सुरक्षा के बीच खुलेंगे स्कूल 

आत्मघाती हमलों के दो हफ्ते बाद भारी सुरक्षा के बीच 6 मई से स्कूल शुरू होगा. आतंकी हमले के बाद प्रशासन ने सभी सरकारी स्‍कूलों को अगले आदेश तक बंद करा दिया था. देश के शिक्षा मंत्रालय ने स्कूलों की सुरक्षा के लिए विशेष सर्कुलर जारी किए हैं. सर्कुलर के मुताबिक स्कूलों के नजदीक वाहनों की पार्किंग पर पूरी तरह प्रतिबंध लगा दिया गया है.

 राष्ट्रपति सिरिसेन ने बुर्के पर लगाया था प्रतिबंध

श्रीलंका के राष्ट्रपति मैत्रिपाल सिरिसेन ने बुर्का या नकाब पर पूरी तरह प्रतिबंध लगा दिया था. यह फैसला भी आत्मघाती हमलों के बाद सुरक्षात्मक कदम के तौर पर उठाया गया था. राष्ट्रपति कार्यालय की ओर से जारी बयान में कहा गया था कि राष्ट्रीय सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए प्रतिबंध लगाया गया है. किसी को भी चेहरा इस तरह से नहीं ढकना चाहिए कि उसकी पहचान मुश्किल हो.

हमले में 257 लोगों की मौत

बता दें कि श्रीलंका में बीते 21 अप्रैल को ईस्टर के मौके पर तीन चर्च और तीन होटल पर सिलसिलेवार 8 बम धमाके हुए. जिसमें 257 लोगों की मौत हो गई, जबकि 500 से ज्यादा लोग घायल हो गए थे. बम धमाके की जिम्मेदारी इस्लामिक स्टेट (आइएस) ने लिया था. लेकिन श्रीलंका सरकार ने इसमें स्थानीय संगठन का हाथ बताया था. इन हमलों को एक स्थानीय मौलवी के नेतृत्व में अंजाम दिया गया था.