टेस्ला दुनिया भर में अपने इलेक्ट्रिक कारों के लिए जानी जाती है. टेस्ला लंबे समय से भारत में प्रवेश करने का प्रयास कर रही है लेकिन देश में कार उत्पादन नहीं करना चाह रही थी, जिस वजह से अब तक भारत में टेस्ला को एंट्री नहीं मिल पायी है. लेकिन अब फिर से टेस्ला भारत में प्रवेश करने की तैयारी शुरू कर दी है. अब एक केंद्रीय मंत्री ने कहा है कि टेस्ला भारत में फैक्ट्री लगाने के लिए गंभीर है. इसके साथ ही उन्होंने टेस्ला के बारें में और क्या जानकारी दी? आइये जानते हैं.

कहां लगेगी फैक्ट्री?

इस इलेक्ट्रिक कार कंपनी ने एक साल बाद भारत सरकार के साथ फिर से संवाद शुरू किया है. टेस्ला को भारत के विशाल उपभोक्ता मार्केट को भुनाने के लिए एक घरेलू फैक्ट्री तो लगानी पड़ेगी. लेकिन इसने अभी तक कोई औपचारिक प्लान पेश नहीं किया है. पहचान छुपाने की शर्त पर मामले से जुड़े लोगों ने यह जानकारी दी है. इस हफ्ते हुई बैठक में अधिकारियों ने आयातित कारों पर हाई टैरिफ के बारे में अपनी चिंता दोहराई. एक सूत्र ने कहा, ‘लेकिन सिर्फ एक कार कंपनी के लिए भारत अपनी टैक्स व्यवस्था को बदलने नहीं जा रहा है.’ टेस्ला ने इस मामले पर अभी तक कोई जवाब नहीं दिया है. सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्रालय के एक प्रतिनिधि ने भी टिप्पणी के अनुरोध का तुरंत जवाब नहीं दिया.

एलोन मस्क ने दिया था बड़ा बयान

पिछले साल टेस्ला के फाउंडर और मुख्य कार्यकारी एलोन मस्क ने कहा था कि कंपनी, जो पहले भारत में अपने वाहनों को बेचने के लिए आयात शुल्क में कमी की मांग कर रही थी, अपने उत्पादों का निर्माण तब तक नहीं करेगी जब तक कि उसे पहले अपनी कारों को बेचने और सर्विस करने की अनुमति नहीं दी जाती है. टेस्ला द्वारा भारत में एक मैन्युफैक्चरिंग प्लांट स्थापित करने के बारे में पूछने वाले एक के ट्वीट के जवाब में मस्क ने कहा, “टेस्ला किसी भी स्थान पर मैन्युफैक्चरिंग प्लांट नहीं लगाएगा जहां हमें पहले कारों को बेचने और सर्विस करने की अनुमति नहीं है’.

ईवी के लिए टेस्ला भारत में करेगी निवेश

केंद्रीय राज्यमंत्री राजीव चंद्रशेखर ने एक बातचीत में कहा कि टेस्ला भारतीय बाजार को बहुत गंभीरता से एक उत्पादन और नए इनोवेशन के रूप में देख रही है. उन्होंने कहा कि हमने उन्हें संकेत दिया है कि भारत सरकार एक साथ काम कर रही है और निश्चित रूप से भारत में उनकी जो भी महत्वाकांक्षाएं या निवेश का उद्देश्य है, उसे सफल बनाया जाएगा.

नितिन गडकरी ने क्या कहा था?

केंद्रीय परिवहन मंत्री नितिन गडकरी ने कुछ दिन पहले एक बयान में कहा था कि टेस्ला का भारत में स्वागत है, अगर वो अपने वाहनों का निर्माण हमारे देश में करते हैं. लेकिन, यह बिल्कुल संभव नहीं होगा कि अगर टेस्ला चीन में मैन्युफैक्चरिंग कर भारत में अपनी कार बेचने के लिए टैक्च छूट चाहती है. गड़करी ने कहा था कि अगर टेस्ला किसी भी भारतीय राज्य में अपना प्रोडक्शन प्लांट शुरू करती है, तो वह सभी छूट का लाभ प्राप्त कर सकती है.

अभी तक टेस्ला भारत में प्रवेश नहीं कर पायी है इसका मुख्य कारण यह है कि टेस्ला सरकार से अन्य इलेक्ट्रिक वाहनों के मुकाबले अधिक सब्सिडी चाहती थी. लेकिन केंद्र सरकार ने इसे रिजेक्ट कर दिया था और अब एक छोटे ब्रेक के बाद टेस्ला फिर से आ गयी है. कुछ समय पहले एलोन मस्क ने कहा था कि वे भारत में बिक्री शुरू करने के लिए भारत सरकार की अनुमति का इंतजार कर रहे हैं. भारत सरकार से अनुमति मिलने पर ही वह भारत में टेस्ला का प्लांट स्थापित करेंगे.

वैश्विक कंपनियां तलाश रहीं विकल्प

चीन और अमेरिका के बीच बढ़ते भू-राजनीतिक तनाव के चलते इस समय वैश्विक कंपनियां मैन्यूफैक्चरिंग और सप्लाई चेन के लिए विकल्प तलाश रही हैं. ऐसे में भारत वैश्विक कंपनियों के लिए आकर्षक विकल्प के रूप उभर रहा है. इस दुनिया के सबसे अधिक आबादी वाले देश में स्मार्टफोन से लेकर इलेक्ट्रिक वाहनों तक के उत्पादों की मांग तेजी से बढ़ रही है.