अगले हफ्ते से शुरू हो रही कांवड़ यात्रा को लेकर देशभर में तैयारियां जोरों पर है. दिल्ली, यूपी और मध्यप्रदेश जैसे राज्य कावड़ियों के लिए रास्तों में विशेष सुविधा के इंतजाम कर रहे हैं. कई स्वयं सेवी संस्थान भी कावड़ियों के लिए लंगर और पेयजल की सुविधा मुहैया कराने में जुटे हुए हैं. हालांकि, इस यात्रा के दौरान देखा गया है कि कई ढाबा और होटल चलाने वाले (विशेषकर मुस्लिम) अपने-अपने होटलों के नाम बदल लेते हैं. इस मामले में अब योग गुरु बाबा रामदेव ने कहा कि सभी मुसलमानों के पूर्वज भी हिंदू हैं, इसलिए उनके नाम बदलने का कोई मतलब नहीं है. इन लोगों को अपना नाम सही रखना चाहिए. अगर लोगों की मर्जी होगी तो वे होटल पर आकर खाना खाएंगे. नाम बदलकर बिजनेस करना व्यावहारिक और धार्मिक रूप से भी गलत है.

Reuters: न्यूज एजेंसी रॉयटर्स का X अकाउंट भारत में बैन, केंद्र सरकार का बयान- हमारी ओर से कोई निर्देश नहीं

पिछले कुछ सालों से ऐसे कई मामले सामने आए जिसमें कांवड़ यात्रा के दौरान ढेरों लोग ढाबा और होटल के नाम बदलकर अपना बिजनेस कर रहे थे. इस तरह का मामले ने काफी तूल भी पकड़ा. अब नाम बदलकर ढाबा या होटल चलाने को जारी विवाद पर योग गुरु स्वामी रामदेव ने हरिद्वार में प्रतिक्रिया देते हुए कहा, “जैसे हमें हिंदू होने पर गर्व है. वैसे सभी मुसलमानों को भी अपने धर्म पर गर्व करना चाहिए.”

‘दक्षिण भारत से हमारी लड़ाई अलग’, आलोचना के बाद शिवसेना के ढीले पड़े तेवर, संजय राउत ने कहा- हम हिंदी के खिलाफ नहीं…

पिछले साल पंडित जी वैष्णो ढाबा का मालिक निकला था मुसलमान

पिछले दिनों उत्तर प्रदेश के मुजफ्फरनगर में दिल्ली-देहरादून कांवड़ मार्ग पर स्थित पंडित जी वैष्णो ढाबा के मालिक ने विवाद बढ़ने के बाद इसे गुरुवार को बंद कर दिया पुलिस ने मामले में शामिल 5 लोगों के खिलाफ एफआईआर दर्ज कर पुलिस ने तलाश शुरू कर दी है.

‘खाना चाहिए या सड़क…’, कर्नाटक विधायक ने लोगों के सामने रखे दो विकल्प, विपक्ष ने साधा निशाना

मराठी और हिंदी विवाद पर क्या बोले रामदेव

इस मामले में मुजफ्फरनगर जिले के नई मंडी थाने के एसएचओ दिनेश चंद्र ने बताया कि पुलिस ने ढाबा मालिक दीक्षा शर्मा, संचालक सनावर समेत 5 लोगों के खिलाफ ढाबा के पूर्व मैनेजर धर्मेंद्र की पिटाई करने का मामला दर्ज किया है. ढाबे का मालिकाना हक दीक्षा शर्मा के पास है जबकि सनावर इसका संचालन करता था. इसकी जानकारी देने के शक में धर्मेंद्र की पिटाई की गई थी.

महाराष्ट्र में चल रहे मराठी और हिंदी विवाद पर स्वामी रामदेव ने कहा, “देश की सभी भाषाओं के साथ मराठी भाषा का भी सम्मान किया जाना चाहिए. लेकिन अलग-अलग भाषा, वर्ग संप्रदाय के आधार पर हिंदुओं को आपस में नहीं लड़ना चाहिए. इससे सनातन और राष्ट्रीय एकता को क्षति पहुंचती है.”

Follow the LALLURAM.COM MP channel on WhatsApp
https://whatsapp.com/channel/0029Va6fzuULSmbeNxuA9j0m