रवि गोयल,जांजगीर चाम्पा. कहते हैं भगवान की आस्था के सामने सब कुछ छोटा होता है. लोग अंधश्रद्धा में कुछ भी करने को तैयार हो जाते है. इसके लिए चाहे चीभ काटना हो या फिर बलि जैसी घटनाएं. दरअसल एक ऐसा ही मामला जिले के डभरा थाना क्षेत्र के ग्राम मांजरकुद से निकलकर सामने आया है. जहां एक 17 साल की नाबालिग लड़की ने अपनी जीभ काटकर शिव भगवान को चढ़ा दिया है. घटना की जानकारी लगते ही नायाब तहसीलदार मौके पर पहुंचकर घायल नाबालिग को अस्पताल में भर्ती कराया है. जहां उसका इलाज जारी है.
जानकारी के मुताबिक मामला आज सुबह 8 बजे का है. नाबालिग लड़की रोज की तरह आज भी नहाने के लिए तालाब गई हुई थी. नहाने के बाद वह पूजा करने मंदिर गई और उसने भगवान को खुश करने के लिए अपनी जीभ चढ़ा दिया. जिसके बाद नाबालिग खून से लतपथ होकर गिर गई. वहां से गुजर रहे ग्रामीणों की नजर उस पर पड़ी. ग्रामीणों ने इसकी सूचना किशोरी के परिजनों को दी. सूचना मिलते ही परिजन मंदिर में पहुंचें. उधर ग्रामीणों ने इसकी जानकारी डभरा थाने में भी दे दी.
घटना की सूचना लगते ही नायाब तहसीलदार मौके पर पहुंच गए और उन्होंने अपनी गाड़ी में बैठाकर नाबालिग को समुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में भर्ती करवाया. जहां डॉक्टरों ने प्राथमिक इलाज के बाद उसे बेहतर इलाज के लिए रायगढ़ जिला अस्पताल में रेफर कर दिया. जहां उसका इलाज जारी है. फिलहाल उसकी हालत खतरे से बाहर बताई जा रही है.
इस मामले में परिजनों का कहना है कि उसकी बेटी की आंख कमजोर है और उसे कम प्रकाश में दिखाई नहीं देता है. जिसकी वजह से वह काफी परेशान रहती थी और गरीबी के चलते हम लोग उसका इलाज भी नहीं करवा पा रहे हैं. बेटी की भगवान पर बहुत आस्था है और वह रोजाना भगवान की पूजा अर्चना करती है. हर साल सावन माह में उसकी बेटी निर्जला उपवास रखती है. परिजनों ने बताया कि हो सकता है कि इसी वजह से उसने अपनी चीभ काटकर शिवलिंग में चढ़ा दी है.
हालांकि अभी यह स्पष्ट नहीं हो सका है कि उसकी चीभ काटने की असल कारण क्या है. क्योंकि नाबालिग अभी बोलने की स्थिति में नहीं है. किशोरी के सामान्य होने के बाद ही उसके द्वारा उठाए गए कदम की सही जानकारी सामने आ पाएगी.