दिल्ली. क्या आपने सुना है कि किराए पर चोर भी मिलते हैं, नहीं तो आप जान लीजिए देश में अब किराए पर चोर भी मिलने लगे हैं. दरअसल राजस्थान में एक बड़ा ही दिलचस्प मामला सामने आया है. यहां धंधे में आ रही मुश्किलों के चलते चोरों ने बेरोजगारी दूर करने के लिए एक नया तरीका खोज निकाला है
राजस्थान में पंद्रह हजार रुपए महीने की पगार पर चोरों ने काम करने का मन बना लिया है. राजस्थान में एक कॉरपोरेट चोर गैंग ने पगार लेकर चोरों की भर्ती की थी लेकिन पुलिस ने एक मामले में इस गैंग के तीन-चार चोरों को गिरफ्तार कर लिया.
गिरफ्तार चोरों ने बताया कि वो अपराध की दुनिया में पहली नौकरी कर रहे हैं, मेरा बॉस 21 साल का आशीष उर्फ अमित है. उसने हमे बाकायदा पंद्रह हजार रुपए प्रतिमाह सैलरी पर रखा हुआ है और चोरी के सामान को कहां और कैसे बेचना और क्या प्लान है खुद ही बाताता था.
गिरफ्तार चोरों ने कहा उन्हें अपना चोरी का सामान बेचने का बाजार नहीं मिल रहा, इसलिए उन्होंने ये तरीका निकाला है. बताया जा रहा है कि आशीष ने गिरफ्तार किए गए लड़कों से कहा कि चोरी करो और सैलरी लो. इसके बाद वो अपने जुगाड़ के जरिए काले बाजार में चोरी का सामान बेचता था.
शातिर दिमागी आशीष ने पुलिस को धोखा देने के लिए अपनी गैंग में ऐसे चोर शामिल किए, जो उसके पहले पुलिस की गिरफ्त में नहीं आए थे और उनका कोई आपराधिक ब्यौरा भी नहीं था. इससे वो पुलिस से बड़ी आसानी से बचे रहते थे.
पुलिस अधिकारियों ने बताया कि आसानी से पैसा बनाने और अमीर बनने के लिए अक्सर ऐसे युवा ऐसे गैंग के साथ जुड़ जाते हैं, जो चोरी और बड़े अपराध करने से पीछे नहीं हटते हैं. गर्लफ्रेंड को महंगे गिफ्ट देकर प्रभावित करने के लिए भी युवा चोरों के गैंगों में शामिल हो रहे हैं.