सत्यपाल राजपूत, रायपुर। किसान आंदोलन में शहीद किसानों को आज रायपुर के बूढ़ा तालाब स्थित धरना स्थल में श्रद्धांजलि दी गई. श्रद्धांजलि सभा में छत्तीसगढ़ किसान मज़दूर महासंघ ने कहा कि आंदोलन में अब तक 23 किसान शहीद हुए हैं. किसानों के परिजनों की भरण पोषण के लिए 1 करोड़ प्रति किसान सहायता राशि की मांग की. सैकड़ों की संख्या में किसान प्रदेश भर से सभा स्थल पहुंचे थे.

किसान महासंघ के संरक्षक जनक ठाकुर ने बताया कि केंद्र सरकार से लाए हुए तीनों कृषि काला क़ानून के विरोध में देश भर में किसान आंदोलन जारी है. इस बीच हमारे किसान शहीद हुए. शहीद किसानों को श्रद्धांजलि देने के लिए आज सभा का आयोजन किया गया. किसानों की आत्मा को तभी शांति मिलेगी जब केंद्र सरकार किसान विरोधी कृषि क़ानून को वापस ले और मृतकों को क्षतिपूर्ति दें
आज किसान आंदोलन को हर वर्ग का समर्थन मिल रहा है. ये लोग अपने मेडल वापस कर रहे हैं उपाधि लौटा रहे हैं फिर भी सरकार अपने अहंकार को सामने लाकर किसानों की बात अनसुनी कर रहे हैं.

ये आंदोलन देश की धरती की है. जन जन की है. जब किसान ही नहीं होंगे तो अनाज कहां से आएगा. जब किसान के उत्पादन का मूल्य साहूकार कॉरपोरेट सेक्टर करेंगे तो किसान सिर्फ़ बंधुआ मज़दूर बन के रह जाएगा. आंदोलन के समर्थन में लगातार छत्तीसगढ़ में अनिश्चितकालीन भूख हड़ताल जारी है.

किसान नेता डॉक्टर संकेत ठाकुर ने बताया कि देश में चल रहे किसान आंदोलन के दौरान जो किसान शहीद हुए हैं आज उन्हें श्रद्धांजलि अर्पित की गई है. छत्तीसगढ़ के कोने कोने से किसान यहां पहुंचे हैं. कृषि क़ानून केंद्र सरकार वापस लें. साथ ही जो किसान शहीद हुए हैं, उनकी परिजनों के भरण पोषण के लिए प्रति किसान एक करोड़ का सहायता राशि की मांग करते हैं.