योशिता सिंह : संयुक्त राष्ट्र, सात मई (भाषा) संयुक्त राष्ट्र की ओर से कर्तव्य का निर्वहन करते हुए जीवन का बलिदान देने के लिए सम्मानित किए गए वैश्विक संगठन के 115 शांतिरक्षकों एवं कर्मचारियों में दो भारतीय भी शामिल हैं।

कांगो लोकतांत्रिक गणराज्य में संयुक्त राष्ट्र संगठन स्थिरीकरण मिशन में सेवा दे रहे पुलिस अधिकारी जितेंद्र कुमार और भारत के पर्यावरण, वन एवं जलवायु परिवर्तन मंत्रालय से जुड़ी संयुक्त राष्ट्र विकास कार्यक्रम (यूएनडीपी) की कंसल्टेंट शिखा गर्ग के साथ ही 113 संयुक्त राष्ट्र कर्मियों ने शांति के लिए सेवा देते हुए जनवरी 2018 से मार्च 2019 के बीच जान गंवाई।

शिखा उन चार भारतीयों में शामिल थीं जिनकी इस साल मार्च में हुए इथियोपियन एयरलाइन्स के विमान हादसे में मौत हो गई थी। वह नैरोबी में संयुक्त राष्ट्र पर्यावरण कार्यक्रम (यूएनईपी) में शामिल होने जा रही थीं।

सोमवार को इन सभी की याद में आयोजित एक कार्यक्रम में संयुक्त राष्ट्र महासचिव एंतोनियो गुतारेस, महासभा की अध्यक्ष मारिया फर्नांडा एस्पिनोसा, सुरक्षा परिषद की अध्यक्ष, संयुक्त राष्ट्र में इंडोनेशिया के दूत दियान त्रियानस्याह दिजानी एवं संचालन सहायता के अवर महासचिव अतुल खरे के साथ ही संयुक्त राष्ट्र के शीर्ष अधिकारी तथा शांतिरक्षकों ने ड्यूटी पर रहते हुए अपने जीवन का बलिदान देने वालों को श्रद्धांजलि दी।

कार्यक्रम में सभी 115 स्टाफ के नाम पढ़े गए । इनमें से 103 अफ्रीकी शांतिरक्षक थे। इस कार्यक्रम में कई राष्ट्रों के राजनयिक एवं मृतकों के परिजन उपस्थित थे।

गुतारेस ने कहा कि यह अक्सर खतरनाक मानी जाने वाली हमारे कार्य की प्रकृति की दुख भरी याद है” लेकिन “यह दुनिया भर की हजारों महिलाएं एवं पुरुषों की प्रतिबद्धता का साक्षी भी है जो विश्व के सबसे कमजोर एवं जरूरतमंद लोगों को मदद मुहैया कराने एवं शांति को बढ़ावा देने के लिए सबकुछ दांव पर लगाने के लिए तैयार रहते हैं।”

संयुक्त राष्ट्र प्रमुख ने 43 अलग-अलग देशों के 115 सहयोगियों के सम्मान में एक मोमबत्ती जलाई। एस्पिनोसा ने मानवता के प्रति उनके समर्पण, जुनून और प्रतिबद्धता के लिए अपना अत्यंत सम्मान अभिव्यक्त किया।