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अब पीएचडी (PhD) के बिना भी प्रोफेसर बन सकते हैं. UGC( भारतीय अनुदान आयोग) प्रोफेसर भर्ती के नए नियम बनाने जा रही है. इन नियमों के तहत प्रोफेसर कि, भर्ती बिना पीएचडी(PhD) या एनईटी (NET) क्वालिफायड की जा सकेगी. कुछ दिन पहले हुई यूजीसी(UGC) की बैठक में यह अहम फैसला लिया गया है. प्रोफेसर भर्ती के नए नियमों को लेकर जल्द नोटिफिकेशन जारी हो सकता है.
इस तरह की भर्ती को प्रोफेसर ऑफ प्रैक्टिस (Professor Of Practice) का नाम दिया गया है. इस तरह से 10 प्रोफेसरों की भर्ती की जा सकेगी. पीओपी(POP) के जरिए असिस्टेंट प्रोफेसर के पदों पर भर्ती की जाएगी.
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यूजीसी(UGC) के नए नियमों के अनुसार प्रोफेसर्स ऑफ प्रैक्टिस (पीओपी) में विज्ञान, इंजीनियरिंग, मीडिया, साहित्य, उद्यमिता, सामाजिक विज्ञान, ललित कला, सशस्त्र बल और सिविल सेवा जैसे विषयों के प्रोफेसरों की भर्ती की जाएगी. कम से कम 15 साल किसी कॉलेज में पढ़ा चुके हों ऐसे व्यक्ति प्रोफेसर ऑफ प्रैक्टिस के लिए योग्य होंगे. या फिर किसी विषय के मास्टर होंगे. ऐसे लोग पीओपी के लिए अप्लाई कर सकते हैं. भारत में पीओपी (POP) का आइडिया विदेशों कि यूनिवर्सिटीज से लिया गया है. हालांकि भारत में आईआईटी में पीओपी मॉडल चलता है. लेकिन अब अन्य विषयों में भी पीओपी मॉडल लागू किया जा सकता है.
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