लखनऊ. उत्तरप्रदेश विधानसभा मानसून सत्र के दूसरे दिन मंगलवार को समाजवादी पार्टी ने प्रदेश में कानून व्यवस्था को लेकर सरकार पर सवाल उठाए. सपा अध्यक्ष और पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने राज्य में बढ़ते अपराध को लेकर सरकार पर निशाना साधा. विपक्ष के कानून व्यवस्था के सवाल पर संसदीय कार्य मंत्री सुरेश खन्ना ने कहा कि कानून व्यवस्था में सख्ती के परिणाम है कि उत्तरप्रदेश आज एनसीआरबी के आंकड़ों में राज्य में अपराध में गिरावट आई है.
सपा के अतुल प्रधान के कस्टोडियल डेथ के मुद्दे पर जांच के विषय के जवाब मे संसदीय कार्य मंत्री सुरेश खन्ना ने कहा कि सरकार सभी मामले में कार्यवाई कर रही है, अपराध अक्षम्य है, जब कार्यवाई होती है तो अपराधी त्राहि-त्राहि करते हैं, अपराधियों के खिलाफ ज़ीरो टॉलरेंस की नीति है, अपराधी कोई भी हो किसी का भी संरक्षण हो कोई छूट नहीं है.
मुख्यमंत्री योगी सपा पर किया जुबानी हमला
विधानसभा में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने अपने संबोधन में सपा सरकार पर जमकर हमला बोला. उन्होंने कहा कि पिछली सरकार की स्वास्थ्य सुविधाएं नकारा साबित हुई. योगी सरकार ने से संभाल लिया. मुख्यमंत्री योगी ने सदन में दावा किया कि हमारी डबल इंजन की सरकार ने प्रदेश की आम जनता को स्वास्थ्य सुविधाओं देकर गंभीर रोगों से बचाया है. कोरोना के 9 महीने बाद ही उसकी वैक्सीन भी देशवासियों को मुहैया करा दी. वहीं प्रदेश सरकार ने गोरखपुर मंडल के जनपदों में पूर्व में सैकड़ों की तादाद में लोग मरते थे, पर अब अकेले जो गोरखपुर जनपद में मात्र 40 जापानी इंसेफेलाइटिस और इंटेफलाइटिस्ट के मामले सामने आए हैं, इनमें भी एक की भी मौत नहीं हुई.
अखिलेश यादव ने उठाए कई सवाल
वहीं अखिलेश यादव ने विधानसभा में कहा कि सीतापुर के बच्चे के इलाज की घटना को मानवाधिकार आयोग ने संज्ञान लिया. एम्बुलेंस के लिए फोन करने पर आज स्थिति है कि मिलती ही नहीं, पैसे वसूले जाने पर मिलती है, मरीज पैसे न दे तो उतार दिया जाता है. पर्याप्त इलाज के लिए डॉक्टर नही है, जांच के लिए कोई इंतजाम नहीं है, दवाइयों का संकट है, परिवार के सदस्यों को इलाज के लिए लोग अपने कंधे पर ले जा रहे हैं, स्ट्रेचर नहीं मिल रहा है. डबल इंजन की सरकार है, कहते है कि विश्व में यही सबसे अच्छी योजनाएं चलाते हैं, ये कहते हैं कि यही सबसे बड़ी पेयजल पाइपलाइन योजना चला रहे हैं.
स्वास्थ्य व्यवस्था बदहाल
अखिलेश यादव ने कहा कि कोरोना को अभी कोई भूला नहीं, मैंने कन्नौज मेडिकल कॉलेज जाकर देखा, वहां सिर्फ कुत्ते टहल रहे थे, कार्डियोलॉजी, कैंसर डिपार्टमेंट में सिर्फ ताले थे. सरकार बताए इलाज की कितनी मशीनें खरीदी है? गोंडा में कस्टोडियल डेथ हुई, उसी दिन गोंडा के नवाबगंज में महिला को गलत इंजेक्शन लगा दिया गया, मौत हो गई. क्या मेडिकल नेगलिजेन्स की वजह से मौत नहीं हो रही? मंत्री केवल छापामार मंत्री बन रहे हैं. छापा मारने के बाद क्या तस्वीर बदली आपने जानने की कोशिश की.? मंत्री डिजिटली स्मार्ट बन रहे हैं, उनकी पोल खुल गई बाद में, सरकार सच छिपा रही है.
सरकार निजीकरण का अपना रही रास्ता
सपा अधक्ष ने कहा कि नेशनल मेडिकल काउंसिल के मानक हैं, ये कहते हैं कि सबसे ज्यादा मेडिकल कॉलेज बना रहे हैं, शाहजहांपुर के मेडिकल कॉलेज का सबसे पहले शिलान्यास मैंने ही किया था, आपके बजट में कमी है तो नेता सदन क्यों नहीं स्वीकार कर रहे हैं? नेता सदन ने दो मंत्रियों को बेरोजगार कर दिया. सरकार निजीकरण का रास्ता अपना रही है, सच्चाई ये है कि ये संस्थाओ को बंद करके सब निजी हाथों में दे देना चाहते हैं. किसी भी जिले में जिला अस्पतालों में इलाज नही हो रहा सीधे रेफर कर दे रहे हैं, मेडिकल में कितने भर्तियां की, सब आउटसोर्सिंग कर रहे हैं. समाजवादियों ने मेदांता अस्पताल बनाया है.