रामपुर। समाजवादी पार्टी के सीनियर नेता आजम खान ने वाई श्रेणी की सुरक्षा लेने से इनकार कर दिया है। सपा नेता ने सुरक्षा में तैनात पुलिसकर्मियों को वापस लौटा दिया है। उन्होंने बयान जारी कर कहा है कि उन्हें इसकी लिखित जानकारी ही नहीं है कि उन्हें सुरक्षा मिली है। कैसे यकीन किया जाए कि खाकी वर्दी पहने हुए और हाथों में हथियार लिए लोग यूपी सरकार के ही मुलाजिम है। साथ ही गाड़ी, तेल और ड्राइवर का कोई इंतजाम नहीं है।
मुजरिम को सुरक्षा नहीं दी जाती
आजम खान ने आगे कहा कि मैं सजायाफ्ता मुजरिम हूं तो मुझे कैसे सुरक्षा मिल सकती है… पहले जबू सुरक्षा दी गई थी तब मैं मुजरिम नहीं था। लेकिन अब में मुजरिम हूं और मुजरिम को सुरक्षा नहीं दी जाती और कब ये सुरक्षा मुझसे छीन ली जाएगी। इसका मुझे कोई भरोसा नहीं है। आजम खान ने तंज भरे अंदाज में कहा कि मैं तो मुर्गी और बकरी चोर हूं, 21 साल की सजा भुगत रहा हूं, तो मुझे सुरक्षा कैसे मिल सकती है? मुझे इस पर भरोसा नहीं है।
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आजम खान का विवादों से गहरा नाता
बता दें कि आजम खान का विवादों से गहरा नाता रहा है। आजम पर सदन में महिलाओं पर अभद्र टिप्पणी करने से लेकर अधिकारियों के साथ गलत व्यवहार करने और चुनाव के दौरान आपत्तिजनक भाषा का इस्तेमाल करने का भी आरोप लगता रहा है। 2019 के चुनाव में चुनाव आयोग ने आजम पर 2 बार प्रचार करने पर प्रतिबंध लगाया था। हालांकि, चुनाव में आजम को जीत मिली थी लेकिन 2022 में भड़काऊ भाषण देने के बाद 2 साल साल की सजा हुई थी और आजम की सदस्यता चली गई थी।
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साल 2019 में बाद डूंगरपुर प्रकरण में कई अलग-अलग मुकदमे दर्ज हुए। जिसमें लोगों के जबरन मकान खाली कराए गए। उनसे मारपीट की गई उनके मकान को तोड़ दिया गया। इस तरह के कई मुकदमे दर्ज हुए थे, जिसमें आरोप था कि आजम खान के इशारे पर उनके साथ मारपीट की गई। उनके मकान तोड़े गए और जबरन घर खाली किए गए और लूटपाट की गई थी।
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