
बस्ती. वैसे तो सीएम योगी अपने अधिकारियों की तारीफ करते थकते नजर नहीं आते. उनके अनुसार तो यूपी का सिस्टम अव्वल दर्जे का है. लेकिन उन्हें थोड़ा हकीकत भी भांपने की जरूरत है. तब शायद सीएम योगी को इस बात का अंदाजा हो पाएगा कि उनका सिस्टम बेहतर नहीं बदतर है. अगर ऐसा न होता तो यूपी सरकार का बेलगाम एसडीएम महिला के साथ बदतमीजी न करता. उसने न सिर्फ महिला के साथ बदतमीजी कि बल्कि जातिसूचक शब्दों का इस्तेमाल करते हुए जलील भी किया. अब सवाल ये उठ रहा है कि इसी सिस्टम और ऐसे ही अधिकारियों की सराहना सीएम योगी करते हैं? आखिर सीएम योगी ऐसे अधिकारियों का इलाज कब करेंगे या सिर्फ सुधार देने का ही दावा करते रहेंगे?
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बता दें कि पूरा मामला भानपुर तहसील का है. जहां एक महिला ने वहां तैनात एसडीएम आशुतोष तिवारी पर आरोप लगाया है कि जमीन के विवाद को लेकर अधिकारियों के चक्कर लगा रही थी. इन सबके बीच वह अपनी शिकायत लेकर एसडीएम आशुतोष तिवारी के पास पहुंची तो एसडीएम ने बदसलूकी की. एसडीएम ने जातिसूचक शब्द का उपयोग करते हुए छोटी जाति का कहा. इतना ही नहीं एसडीएम ने धक्का देकर कार्यालय से बाहर भी निकाल दिया.
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वहीं मामले की शिकायत महिला ने राज्य महिला आयोग से की है. महिला ने एसडीएम के खिलाफ केस दर्ज करने और कार्रवाई करने की मांग की है. साथ ही महिला ने जिलाधिकारी और पुलिस अधीक्षक बस्ती को भी शिकायत का आवेदन सौंपा है. हालांकि, अब तक एसडीएम के खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं की गई है. वहीं तहसील ऑफिस के होनहार कर्मचारी महिला को प्रताड़ित करते हुए शिकायत वापस लेने की बात कह रहे हैं. हालांकि, मामले को लेकर एसडीएम का कहना है कि, उन पर लगाए गए आरोप गलत हैं. अगर आरोप सही साबित हुआ तो पद को छोड़ दूंगा.
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