लखनऊ. गैंगरेप केस में पूर्व मंत्री गायत्री प्रजापति दोषी ठहराया गया है. यह फैसला MP-MLA कोर्ट ने सुनाया है. 12 नवंबर को दोषियों को सजा सुनाई जाएगी.

बता दें कि 8 फरवरी 2017 को सुप्रीम कोर्ट के आदेश पर गायत्री प्रजापति के खिलाफ गौतमपल्ली में सामूहिक दुष्कर्म, जानमाल को नुकसान पहुंचाने की धमकी और पॉक्सो एक्ट का केस दर्ज हुआ था. चित्रकूट की महिला के साथ सामूहिक दुष्कर्म में गायत्री प्रजापति पॉक्सो एक्ट में दोषी करार दिया गया है. आशीष शुक्ल और अशोक तिवारी भी दोषी पाए गए हैं. चंद्रपाल, विकास वर्मा, रूपेश्वर और अमरेन्द्र सिंह पिंटू निर्दोष करार दिए गए.

लखनऊ के एमपी एमएलए स्पेशल कोर्ट ने गैंगरेप मामले में दोषी करार दिया है. उनके साथ ही अशोक तिवारी, आशीष शुक्ला को भी मामले में दोषी माना गया है. अब कोर्ट 12 नवंबर को सजा सुनाएगा. वहीं दूसरी तरफ विकास वर्मा, रूपेश्वर, अमरेंद्र सिंह, पिंटू और चंद्रपाल को कोर्ट ने बरी कर दिया है. गौरतलब है कि इससे पहले कोर्ट ने गायत्री प्रजापति समेत अन्य आरोपियों को मौखिक साक्ष्य देने का अवसर 2 नवंबर को खत्म कर दिया था.

पूर्व खनन मंत्री गायत्री प्रजापति की तरफ से मंगलवार को ही मामले में अर्जी लगाकर मुकदमे की तारीख आगे बढ़ाए जाने की मांग की गई थी. इसमें कहा गया था कि इस मुकदमे को किसी दूसरे राज्य में ट्रांसफर करने की मांग को लेकर उनकी ओर से सुप्रीम कोर्ट में विशेष अनुमति याचिका दाखिल की गई है, इसी के साथ एमपी एमएलए कोर्ट के उस आदेश को इलाहाबाद हाईकोर्ट लखनऊ बेंच में चुनौती दी गई है जिसमें उसके बचाव के सबूत पेश करने की अर्जी को खारिज कर दिया गया था.