लखनऊ। यूपी विधानसभा में शीतकालीन सत्र की कार्यवाही जारी है। सदन में वंदे मातरम पर चर्चा हो रही है। सीएम योगी आदित्यनाथ ने वंदे मातरम् को लेकर कहा कि देशभर में सांस्कृतिक गौरव का प्रचार। वंदे मातरम् राष्ट्र की आत्मा की धड़कन है। वंदे मातरम् बोलकर लोग फांसी पर चढ़े। कांग्रेस को राष्ट्र से ज्यादा सत्ता की चिंता है। वंदे मातरम् हर भारतीय की साधना बनी। राष्ट्र चेतना को गिरवी रखने की साजिश। कांग्रेस तुष्टिकरण की राजनीति में माहिर है।

वंदे मातरम् के लिए लोगों ने बलिदान दिया

सीएम योगी ने कहा कि वंदे मातरम् से अंग्रेज बौखला गए थे। कांग्रेस ने आपातकाल लगाया था। वंदे मातरम् को रोकने की साजिश हुई। पीएम मोदी के नेतृत्व में नया भारत हर मामले में नए कीर्तिमान स्थाापित कर रहा है। वंदे मातरम् क्रांतिकारियों का नारा बना। भारत आत्मविश्वास के साथ आगे बढ़ रहा है। वंदे मातरम् मात्र एक काव्य नहीं था। वंदे मातरम् के लिए लोगों ने बलिदान दिया। वंदे मातरम् ने लोगों में जोश भरने का किया और देश को आजादी दिलाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई।

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मोहम्मद अली जिन्ना ने खुलकर जहर दिया

सीएम योगी ने आगे कहा कि मोहम्मद अली जिन्ना ने इस पर खुलकर जहर दिया। कांग्रेस से अलग होने के बाद जिन्ना ने इसे मजहबी रंग दिया। 1935 में जिन्ना ने इसके खिलाफ नारा बुलंद किया। उस समय पीएम जवाहरलाल नेहरू थे। 26 अक्तूबर 1920 कांग्रेस ने इसे छोटा करने का निर्णय लिया। जब तुष्टिकरण के नीचे राष्ट्रभक्ति को पूरी तरह कैद करके रखने का दुस्साहस किया गया, तब भारत के विभाजन की नींव पड़ी। जो लोग इस गीत का विरोध कर रहे उन्हें देशवासियों से माफी मांगनी चाहिए।

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यह राष्ट्र की आत्मा का गीत है

वहीं शिवपाल यादव ने कहा कि वंदे मातरम् हमारी ऐतिहासिक चेतना है। वंदे मातरम् को राजनीति में घसीटा जा रहा है। यह राष्ट्र की आत्मा का गीत है। यूपी में किसानों को खाद नहीं मिल रही है। भर्तियों के पेपर लीक हो रहे है। SIR में विपक्ष के वोट काटे जा रहे है। आप नाम बदलने में माहिर है। राष्ट्रभक्ति नारों में नहीं नीयत में होती है। वंदे मातरम् संविधान की आत्मा है। वंदे मातरम् को राजनीतिक हथियार बनाया जा रहा। क्या बेरोजगार नौजवान वंदे मातरम् नहीं बोलता? देशभक्ति दबाव नहीं दिल से निकलती है।