फरुर्खाबाद. पुलिस ने फतेहगढ़ सेंट्रल जेल के अंदर तलाशी अभियान के दौरान एक देसी पिस्तौल और कुछ जिंदा कारतूस बरामद किए हैं. यह खबर फतेहगढ़ जेल के अंदर दंगे भड़कने के तीन दिन बाद सामने आई है. हालांकि, जेल अधिकारी, वसूली के बारे में चुप्पी साधे रहे और उन्होंने टिप्पणी करने से इनकार कर दिया.

अवैध हथियारों की बरामदगी महत्वपूर्ण है क्योंकि 26 वर्षीय कैदी शिवम ठाकुर की पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट में कहा गया था कि उसकी मौत बंदूक की गोली से हुई थी. फतेहगढ़ के पुलिस अधीक्षक अशोक कुमार मीणा ने कम से कम एक देशी पिस्तौल की जब्ती की पुष्टि करते हुए कहा कि यह जेल की मुख्य सीमा के अंदर मिली थी. उन्होंने कहा कि यह पता लगाने की कोशिश की जा रही है कि यह वहां कैसे पहुंची.

महानिदेशक (कारागार) आनंद कुमार ने कहा कि जेल में सुधारात्मक उपाय के रूप में कंसर्टिना तार (एक प्रकार का कांटेदार तार जिसे कॉइल में आकार दिया जा सकता है) लगाया जाना है, क्योंकि दंगे के दिन कई कैदी छत पर चढ़ गए थे. जांच टीम के रिपोर्ट सौंपने के बाद अन्य कदम उठाए जाएंगे. मंगलवार को पुलिस महानिरीक्षक (कानपुर रेंज), प्रशांत कुमार और कानपुर के संभागीय आयुक्त राज शेखर द्वारा तैयार एक संयुक्त प्रारंभिक रिपोर्ट, जेल के अंदर दंगों और आगजनी के संबंध में सरकार को सौंपी गई थी.

इस बीच फतेहगढ़ पुलिस ने दावा किया कि कैदी संदीप यादव की मौत डेंगू से हुई थी लेकिन सैफई में चिकित्सा अधिकारियों ने कहा, कि उसकी डेंगू की रिपोर्ट निगेटिव आई थी. विश्वविद्यालय के चिकित्सा अधीक्षक डॉ आदेश कुमार ने भी कहा कि यादव की डेंगू रिपोर्ट निगेटिव आई थी.