रविंद्र भारद्वाज, रायबरेली. साइबर अपराधों के खिलाफ चलाए जा रहे विशेष अभियान में थाना डीह पुलिस को बड़ी सफलता मिली है. पुलिस ने बैंक कर्मचारी की मिलीभगत से फर्जी आधार कार्ड और जन्म प्रमाण पत्र बनाने वाले एक संगठित गिरोह का भंडाफोड़ किया है. आरोपियों के खिलाफ मामला दर्ज कर पुलिस आगे की कार्रवाई कर रही है.
इसे भी पढ़ें- ‘अगर तुम्हारी मां ने दूध पिलाया है तो…’,बृजभूषण शरण सिंह को सपा नेता रमाकांत दुबे का खुला चैलेंज, बताया दबदबा वाले ‘दलाल’
बता दें कि मुखबिर की सूचना पर कार्रवाई करते हुए पुलिस ने तीन अभियुक्तों को गिरफ्तार किया है. पूछताछ में आरोपियों ने खुलासा करते हुए बताया कि बैंक कर्मचारी अनुज यादव ग्राहकों का संवेदनशील डाटा (बायोमेट्रिक, फोटो आदि) चोरी कर अपने साथियों को देता था. उसके साथी लैपटॉप, प्रिंटर, फिंगरप्रिंट मशीन और आईरिस स्कैनर की मदद से फर्जी आधार कार्ड औऱ जन्म प्रमाण पत्र बनाते थे. ये दस्तावेज़ सिम कार्ड लेने, बैंक खाते खोलने और अन्य अवैध कार्यों में इस्तेमाल होते थे.
इसे भी पढ़ें- ‘साहब! पति दोस्तों के साथ करवाता है SEX’…थाने पहुंचकर महिला ने पति पर लगाए गंभीर आरोप, मामला जानकार खौल उठेगा खून
पुलिस ने मौके से 2 लैपटॉप, 3 प्रिंटर, 2 फिंगरप्रिंट मशीन, 1 डुअल आईरिस स्कैनर, 4 मोबाइल, 237 इनरोलमेंट रसीदें, 4 फर्जी प्रमाण पत्र सहित अन्य सामान बरामद किया. अभियुक्तों पर बीएनएस की विभिन्न धाराओं के साथ आधार अधिनियम व आईटी एक्ट की धारा 66डी के तहत मुकदमा दर्ज कर जेल भेजा गया है. पुलिस का कहना है कि शेष गिरोह के सदस्यों को शीघ्र गिरफ्तार कर लिया जाएगा. आरोपियों की पहचान अनुज यादव, अरविन्द कुमार और शत्रुघ्न पासी के रूप में हुई है.
- छत्तीसगढ़ की खबरें पढ़ने यहां क्लिक करें
- उत्तर प्रदेश की खबरें पढ़ने यहां क्लिक करें
- लल्लूराम डॉट कॉम की खबरें

