बिजनौर। नया मोटर व्हीकल एक्ट आने के बाद देशभर में ताबड़तोड़ चालान काटे जा रहे हैं. वहीं चालान से जुड़ी कई दिलचस्प खबरें भी सामने आना शुरु हो गई है. अपनी कारगुजारियों के लिए देशभर में जानी-पहचानी जाने वाली यूपी पुलिस ने एक बार फिर ऐसा कुछ कर दिया कि देश भर में उसकी चर्चाएं शुरु हो गई है. सोशल मीडिया में यूपी पुलिस की कारगुजारियों को लेकर जमकर खिंचाई भी की जा रही है. दरअसल यूपी पुलिस ने नए मोटर व्हीकल एक्ट के तहत एक बैलगाड़ी का चालान काट दिया. वह भी खेत के बगल में खड़ी बैलगाड़ी का. शनिवार को पुलिस ने बैलगाड़ी के मालिक को चालान काटकर थमाया. लेकिन मोटर व्हीकल एक्ट में बैलगाड़ी के लिए जुर्माने का प्रावधान नहीं होने की वजह से पुलिस ने अगले दिन चालान चालान रद्द कर दिया.

मालिक रियाज हसन के मुताबिक उसने बैलगाड़ी को अपने खेत के बगल में खड़ी किया था. उसी दौरान गश्त पर निकली सब इंस्पेक्टर पंकज कुमार के नेतृत्व में एक पुलिस टीम वहां आ पहुंची. जब उन्होंने देखा कि बैलगाड़ी के आस-पास कोई भी शख्स मौजूद नहीं है तो ग्रामीणों से पूछताछ की. पता लगने पर कि बैलगाड़ी हसन की है तो पुलिस बैलगाड़ी लेकर हसन के घर गई और मोटर वीइकल ऐक्ट के सेक्शन 81 के तहत 1 हजार रुपये का चालान काट कर थमा दिया.

हसन ने पुलिस से सवाल किया, “‘मेरा चालान कैसे कट सकता है जब मैंने अपने ही खेत के बाहर अपना वाहन खड़ा किया था. उन्होंने मोटर वीइकल ऐक्ट के तहत मेरी बैलगाड़ी का चालान कैसे काट दिया?” जिसके दूसरे दिन पुलिस ने चालान रद्द कर दिया.

मामले में साहसपुर थाना प्रभारी पीडी भट्ट ने कहा कि अवैध रेत उत्खनन की सूचना पर पुलिस गश्त के लिए निकली थी. अधिकतर गांव वाले बैलगाड़ी के जरिए खनन की रेत ले जाते हैं. पुलिस टीम को लगा कि हसन की गाड़ी का भी इस्तेमाल हुआ होगा. टीम मोटर वीइकल ऐक्ट के तहत काटे जाने वाले चालान और दूसरे अपराधों में अंतर नहीं कर पाई और आईपीसी की धारा के बजाय मोटर वीइकल ऐक्ट के तहत चालान काट दिया.