वाशिंगटन। आतंकवाद के खिलाफ लड़ी जा रही लड़ाई में भारत को बड़ी सफलता मिली है. देश-दुनिया को दहलाने वाले मुंबई हमले के आरोपी तहव्वुर राणा के प्रत्यर्पण की अमेरिकी कोर्ट ने अनुमति दे दी है. भारत ने 10 जून 2020 को राणा के प्रत्यर्पण के लिहाज से अस्थायी गिरफ्तारी की मांग करते हुए शिकायत दर्ज कराई थी. बाइडन प्रशासन ने राणा के प्रत्यर्पण का समर्थन करते हुए मंजूरी दी थी.
यूएस डिस्ट्रिक्ट कोर्ट सेंट्रल डिस्ट्रिक्ट ऑफ कैलिफोर्निया की मजिस्ट्रेट जज जैकलीन चूलजियान ने 16 मई को 48 पेज के आदेश में कहा कि न्यायालय ने अनुरोध के समर्थन और विरोध में प्रस्तुत सभी दस्तावेजों की समीक्षा की है और उन पर एवं सुनवाई में प्रस्तुत तर्कों पर विचार किया है. न्यायाधीश ने कहा कि अदालत का निष्कर्ष है कि राणा उन अपराधों के लिए प्रत्यर्पण योग्य है, जिसमें उसके प्रत्यर्पण का अनुरोध किया गया है. यह आदेश 17 मई को जारी किया गया.
166 लोगों की हुई थी मौत
बता दें कि 26 नवंबर 2008 को मुंबई में 10 पाकिस्तानी आतंकवादियों ने आतंकी हमलों को अंजाम दिया था. ये हमले मुंबई के प्रतिष्ठित और महत्वपूर्ण स्थानों पर 60 घंटे से अधिक समय तक जारी रहे थे. इसमें छह अमेरिकियों सहित कुल 166 लोग मारे गए थे. इन हमलों में अजमल कसाब नाम का आतंकवादी जीवित पकड़ा गया था, जिसे 21 नवंबर 2012 को भारत में फांसी की सजा दी गई थी. शेष आतंकवादियों को हमलों के दौरान भारतीय सुरक्षाबलों ने ढेर कर दिया था.
भारत लाने की तैयारी शुरू
मुंबई में हुए आतंकी हमलों में भूमिका को लेकर भारत के प्रत्यर्पण का अनुरोध किए जाने पर राणा को अमेरिका में गिरफ्तार किया गया था. भारत की राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) 2008 में पाकिस्तान स्थित लश्कर-ए-तैयबा के आतंकवादियों द्वारा किए गए 26/11 के हमलों में राणा की भूमिका की जांच कर रही है. एनआईए ने कि वह राणा को भारत लाने के लिए राजनयिक चैनलों के जरिये कार्रवाई शुरू करने के लिए तैयार है.
पहली बार अमेरिकी सरकार ने किया भरोसा
26/11 मुंबई आतंकवादी हमले के मामले में विशेष लोक अभियोजक उज्ज्वल निकम ने अमेरिकी अदालत के फैसले पर प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि तहव्वुर राणा (26/11 मुंबई आतंकी हमले के आरोपी) को प्रत्यर्पित करने का अमेरिकी अदालत का आदेश भारत के लिए एक बड़ी जीत है. यह मेरी जानकारी के अनुसार पहली बार है, अमेरिकी सरकार ने भारतीय जांच एजेंसी के सबूतों पर बहुत भरोसा किया है.
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