रुपेश गुप्ता, रायपुर। सदन में विपक्षी एकता पर सीएम भूपेश बघेल ने तंज कसते हुए कहा कि पहली बार विपक्ष एक साथ नजर आया. विपक्ष की जुगलबंदी सामने आ गई है. बीजेपी, जोगी कांग्रेस और बसपा की मिले होने की बात सामने आ गई है. संयुक्त विपक्ष चर्चा से भाग रहा था.

उन्होंने कहा कि पहली बार है जब विपक्ष ना तो आसंदी की सुन रहे हैं ना ही सत्ता पक्ष की बात सुनने को तैयार है. भाजपा किस मुंह से किसान हित की बात करती है. वो 15 साल सत्ता में रहे लेकिन न तो वे किसानों के हित में कोई फैसला कर पाए न ही बोनस दे पाए. भाजपा के नेता घड़ियाली आंसू बहा रहे हैं. केंद्र सरकार कहती है कि आप यदि बोनस देंगे तो आप चावल नहीं खरीदेंगे और इधर भाजपा के नेता हो हल्ला कर रहे हैं. भूपेश बघेल ने भाजपा के नेताओं पर ये भी आरोप लगाया कि वो किसानों के पैसे देने के मसले पर केंद्र से अड़ंगा लगवाते हैं.

भूपेश बघेल ने आंकड़ों को सामने रखते हुए बताया कि इस साल सबसे ज़्यादा 93.11 प्रतिशत किसानों से धान की खरीदी हुई है जबकि भाजपा के शासनकाल मे ये आंकड़ा 65 से 85 प्रतिशत ही होता था.  विपक्ष के पास बोलने को कुछ नही है.

कवर्धा में हो रहे किसानों के प्रदर्शन पर मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने पूर्व मुख्यमंत्री डॉक्टर रमन सिंह के अस्तित्व को बचाने की कवायद करार दिया. उन्होंने कहा कि बीजेपी का चेहरा उजागर हो गया है. बीजेपी के लोग कानून व्यवस्था बिगड़ने की कोशिश कर रहे है. डॉ. रमन सिंह को कोई पूछ नहीं रहा है इस लिए प्रायोजित प्रदर्शन करा रहे हैं. बघेल ने कहा कि कोंडागांव में भी किसानों को भाजपा ने भड़काने का काम किया है. सदन में विपक्ष के काले कपड़े पहनकर आने पर कहा कि उनका दिल काला है आज कपड़ा भी काला हो गया. उन्होंने कहा कि भाजपा हिंसा में विश्वास रखती है, जिस तरह से भाजपा ने दिल्ली में लोगों को भड़काया.