बिलासपुर। जिले में पिछले कुछ दिनों से एक खबर तेजी से फैल रही है कि बच्चों को ट्यूशन पढ़ाने वाली महिला कोरोना पॉजिटिव पाई गई है. महिला के संक्रमित मिलने से बच्चों और परिजनों पर खतरा मंडरा रहा है. खबर में कितनी सच्चाई है इसकी पड़ताल की गई, तो बिलासपुर पुलिस का एक ट्वीट मिला. जिसमें इसे अफवाह करार दिया गया है.

बिलासपुर पुलिस ने यह भी स्पष्ट किया है कि 4 जून को महिला झारखंड से लौटी थी. 8 जून को महिला की सैंपल रिपोर्ट कोरोना पॉजिटिव मिलने के बाद उसे कोविड-19 अस्पताल में भर्ती कराया गया. लेकिन संक्रमित महिला द्वारा बच्चों को ट्यूशन पढ़ाने की खबर झूठी है. बच्चों को ट्यूशन महिला नहीं, बल्कि उसकी (भतीजी) इंजीनियरिंग की छात्रा पढ़ाती थी. उसे भी एहतियातन क्वारेंनटाइन किया गया है. 40 बच्चों को पढ़ाने वाली बात भी झूठी है, छात्रा 4 बच्चों को ट्यूशन देती थी. इस तरह एक महिला शिक्षिका की कोरोना पॉजिटिव होने और 1 महीने से 40 बच्चों को ट्यूशन पढ़ाने की फैली अफवाह झूठी साबित हुई है.

एसपी प्रशांत अग्रवाल ने लल्लूराम डॉट कॉम से बातचीत में बताया कि कोरोना पॉजिटिव महिला टीचर की ट्यूशन पढ़ाने की खबर भ्रामक है. ऐसी अफवाहों से बचने की जरूरत है. बाहर से आने की ट्रेवल हिस्ट्री छुपाने पर महिला के खिलाफ सीपत थाने में एफआईआर दर्ज किया गया है. उन्होंने यह भी बताया कि जो ट्यूशन पढ़ाती थी वह उसकी रिस्तेदार है. जिसको कांट्रेक्ट ट्रेसिंग के दौरान एहतियातन क्वारेंटइन किया गया है. साथ ही उन्होंने आम लोगों से ऐसी भ्रामक जानकारी से बचने की अपील की है.