Goa Club Fire: क्या होता है ब्लू कॉर्नर नोटिस, ये कितना पावरफुल

10 दिसंबर को गोवा के 'बर्च बाय रोमियो लेन' के अग्निकांड मामले में इंटरपोल ने 2 दिनों में ही ब्लू कॉर्नर नोटिस जारी कर दिया.

यह नोटिस आरोपियों को ट्रेस करने में मदद करेगा और उन्हें किसी दूसरे देश में जाने से रोकेगा.

इंटरनेशनल क्रिमिनल पुलिस ऑर्गनाइजेशन यानी इंटरपोल दुनिया का सबसे बड़ा इंटरनेशनल पुलिस नेटवर्क है.

1923 में इंटरपोल की स्थापना फ्रांस के ल्योन शहर में हुई थी. 190 से भी ज्यादा देश इंटरपोल से जुड़े हैं.

हर एक देश में इंटरपोल का नेशनल सेंट्रल ब्यूरो (NCB) होता है. भारत यह जिम्मेदारी CBI के पास है.

इंटरपोल खुद किसी अपराधी को गिरफ्तार नहीं करता बल्कि आपराधिक मामलों में जानकारी इकट्ठा करके पहुंचाता है.

ऐसे मामलों में इंटरपोल कलर-कोडेड नोटिस जारी करता है. इन नोटिसों में अपराधी के बारे में डिटेल्ड इन्फॉर्मेशन होती है  यानी उसकी फोटो, लोकेशन, डॉक्यूमेंट्स, क्रिमिनल बैकग्राउंड्स और लेंग्वेज समेत सब कुछ.

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