MUDA Land Scam: मुडा लैंड स्कैम में चौतरफा घिरे कर्नाटक (Karnataka) के सीएम सिद्धारमैया (CM Siddaramaiah) को बचाने के लिए उनकी पत्नी सामने आई है। सिद्धारमैया की पत्नी ने विवादित जमीन को लौटाने की पेशकश की है। सिद्धारमैया की पत्नी पार्वती (Siddaramaiah wife Parvati) ने पूरे प्रकरण में मैसूरु शहरी विकास प्राधिकरण (Mysore Urban Development Authority) को पत्र लिखा है। पत्र में उन्होंने कहा है कि मुडा से मुझे जो प्लॉट मिले हैं, वो मैं वापस करना चाहती हूं। पार्वती ने मुडा से कहा है कि उनके लिए पति ज्यादा जरूरी है, इसलिए मैं उन 14 साइटों को वापस करना चाहती हूं, जो मुझे आवंटित की गई है।
वहीं पार्वती के इस फैसले पर मुडा की तरफ से अभी तक कोई प्रतिक्रिया नहीं आई है। जबकिसिद्धारमैया ने पार्वती के इस पत्र पर कहा है कि ये उनका फैसला है, लेकिन मैं लंबी लड़ाई लड़ने के लिए भी तैयार हूं।
राज्यपाल ने केस चलाने की दी थी मंजूरी
बता दें कि मुडा स्कैम में सिद्धारमैया और उनके परिवार के खिलाफ मनी लॉन्ड्रिंग के आरोप में ईडी की जांच शुरू हो गई है। राज्यपाल थावरचंद गहलोत ने 16 अगस्त को सिद्धारमैया के खिलाफ केस चलाने की मंजूरी दी थी। सिद्धारमैया ने इसके खिलाफ कर्नाटक हाईकोर्ट (Karnataka High Court) में याचिका लगाई थी, जिसे खारिज कर दिया गया है। सिद्धारमैया पर मैसुरु शहरी विकास प्राधिकरण (Mysore Urban Development Authority) (MUDA Scam) से मुआवजे के लिए फर्जी दस्तावेज लगाने का आरोप है। घोटाले के आरोप के तार सिद्धारमैया की पत्नी को गिफ्ट में मिली जमीन से जुड़े हुए हैं। ये जमीन किसी और ने नहीं बल्कि सिद्धारमैया के साले ने गिफ्ट की है।
MUDA केस क्या है
साल 1992 में MUDA ने रिहायशी इलाके बनाने के लिए किसानों से कुछ जमीन ली थी। इसके बदले इंसेंटिव 50:50 स्कीम के तहत MUDA ने किसानों को रिहायशी इलाके में 50% साइट या एक वैकल्पिक साइट दी। सिद्धारमैया की पत्नी पार्वती को जमीन के बदले साउथ मैसुरु के पॉश इलाके में 14 साइट्स मिले। सिद्धारमैया की पत्नी को मुआवजे के तौर पर मिले प्लॉट की कीमत उनकी गांव वाली जमीन से बहुत ज्यादा है। हालांकि ये मुआवजा 2022 में बसवराज बोम्मई सरकार के समय मिला था।
3 एकड़ जमीन से जुड़ा है MUDA घोटाला
दरअसल, सिद्धारमैया की पत्नी पार्वती के पास मैसुरु जिले के केसारे गांव में 3 एकड़ और 16 गुंटा जमीन थी। ये जमीन पार्वती के भाई मल्लिकार्जुन ने उन्हें 2010 में गिफ्ट में दी थी। MUDA ने इस जमीन को अधिग्रहण किए बिना ही देवनूर स्टेज 3 लेआउट विकास किया था। हालांकि इस जमीन के बदले 2022 में बसवराज बोम्मई सरकार ने पार्वती को साउथ मैसुरु के पॉश इलाके में 14 साइट्स दिए थे। इनका 50:50 अनुपात योजना के तहत कुल 38,283 वर्ग फीट एरिया था।
करीब पांच हजार करोड़ रुपये का घोटाला!
जानकारी के अनुसार, मुडा घोटाला मामला करीब पांच हजार करोड़ रुपये का है। मुख्यमंत्री सिद्धारमैया पर भ्रष्टाचार के गंभीर आरोप हैं। बताया जा रहा है सीएम सिद्दारमैया की पत्नी पार्वती को उनके भाई मल्लिकार्जुन ने कुछ जमीन गिफ्ट के तौर पर दी थी। यह जमीन मैसूर जिले के कैसारे गांव में स्थित है. बाद में इस जमीन को मैसूर शहरी विकास प्राधिकरण (मुडा) ने अधिग्रहित कर लिया। इसके बदले पार्वती को विजयनगर इलाके में 38,223 वर्ग फीट के प्लॉट दे दिए गए। आरोप है कि दक्षिण मैसूर के प्रमुख इलाके में मौजूद विजयनगर के प्लॉट की कीमत कैसारे गांव की उनकी मूल जमीन से बहुत अधिक है। इसी को लेकर सिद्धारमैया भ्रष्टाचार के आरोप में घिरे हैं।
MUDA का जमीन घोटाला और ईडी की एंट्री
साल 2020 में मुडा ने एक स्कीम की शुरुआत की. स्कीम में कहा गया कि जिन लोगों की जमीन विकास के काम के लिए लिया जाएगा, उन्हें 50-50 पॉलिसी के तहत मैसूर शहर में प्लॉट और मुआवजा दिया जाएगा। बीजेपी सरकार की तरफ से शुरू की गई इस स्कीम की खूब आलोचना हुई, जिसके बाद 2023 में इसे रद्द कर दिया गया। सिद्धारमैया परिवार पर फर्जी दस्तावेज और पावर का दुरुपयोग कर इस स्कीम का लाभ लेने का आरोप है। सिद्धारमैया की पत्नी पर करीब 55 करोड़ रुपए का लाभ लेने का आरोप है। हालांकि, सिद्धारमैया इस पूरे मामले को राजनीतिक साजिश बता रहे हैं।राज्यपाल के आदेश के बाद पहले इस केस की जांच लोकायुक्त ने शुरू की, लेकिन एक दिन पहले ईडी ने इसमें PMLA के तहत एफआईआर दर्ज की है।
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