भिलाई. भिलाई एजुकेशन ट्रस्ट द्वारा संचालित पीजी कॉलेज ऑफ़ नर्सिंग में विश्व स्तनपान सप्ताह के अवसर पर एक दिवसीय कार्यशाला का आयोजन किया गया. मुख्य अतिथि जेएलएनएच और आरसी अस्पताल नियोनेटोलॉजी प्रमुख और अतिरिक्त सीएमओ डॉ. सुबोध साहा ने अपने संबोधन में प्रसव के तुरंत बाद स्तनपान कराने और 6 महीने तक बच्चे को सिर्फ स्तनपान ही कराने पर जोर दिया. उन्होंने स्तनपान को बढ़ावा देने में नवजात और प्रसूति वार्ड में नर्सों की अहम भूमिका बताई.

कॉलेज प्राचार्या प्रो. डॉ. अभिलेखा बिस्वाल के मार्गदर्शन में आयोजित कार्यशाला का शुभारंभ उप-प्राचार्या प्रो. डॉ. श्रीलता पिल्लई के स्वागत भाषण से हुआ. सम्मानित अतिथि जेएलएनएच एंड आरसी अस्पताल सेक्टर-9, भिलाई में नियोनेटोलॉजी विभाग की सलाहकार डॉ. माला चौधरी ने बेबी फ्रेंडली अस्पताल पहल विषय पर अपने विचार व्यक्त किए और प्रसव के तुरंत बाद मां और बच्चे के बीच त्वचा से त्वचा के संपर्क और प्रसव के आधे घंटे के भीतर स्तनपान शुरू करने पर भी जोर दिया. उन्होंने जेएलएचएनआरसी, भिलाई के बीएफएचआई प्रमाणन की सफलता की कहानी भी सुनाई.

डॉ. सुबोध साहा, डॉ. माला चौधरी और डॉ. डेजी अब्राहम ने ‘स्तनपान को सक्षम करना’ विषय पर लगाए गए पोस्टरों का अवलोकन किया, जिसमें शाइना थॉमस ने पहला, मोनिका पड्डा ने दूसरा और अनीशु आर अनिल और पुनीता उसेंडी ने तीसरा पुरस्कार प्राप्त किया.

बाल स्वास्थ्य विभाग के संकायों द्वारा स्तनपान से संबंधित विभिन्न विषयों पर चर्चा की गई. डॉ डेज़ी अब्राहम ने एनाटॉमी और फिजियोलॉजी ऑफ ब्रेस्ट फीडिंग पर क्लास ली. नेहा सिंह ने शिशु, मां और समाज को स्तनपान से लाभ पर जानकारी दी. डॉ अनु थॉमस ने स्तनपान की चुनौतियों से सम्बंधित विचारों को प्रस्तुत किया. भगवती साहू, केसरलता साहू और रेशमा पटेल ने बीएससी नर्सिंग तृतीय वर्ष की छात्रा को स्तनपान की समस्याओं पर स्किट के लिए मार्गदर्शन किया.

बीएससी नर्सिंग छात्राओं को सिमुलेशन से परिचित करने हेतु एमएससी नर्सिंग छात्राओं द्वारा स्तनपान से सम्बंधित टिप्पणियों पर एक परिदृश्य बनाया गया. एक नई ऑनलाइन तकनीक “मेनटिमीटर” का उपयोग क्विज के लिए किया गया था. भिलाई एजुकेशन ट्रस्ट के प्रबंधन ने विश्व स्तनपान सप्ताह के सफल आयोजन पर सभी संकायों को बधाई दी.