हेमंत शर्मा, इंदौर। विश्व एड्स दिवस के अवसर पर केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री जगत प्रकाश नड्डा ने इंदौर में आयोजित कार्यक्रम में भारत की स्वास्थ्य उपलब्धियों, एड्स रोकथाम के प्रयासों और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में हुए ऐतिहासिक सुधारों पर विस्तृत चर्चा की। इस मौके पर मुख्यमंत्री मोहन यादव, उपमुख्यमंत्री जगदीश देवड़ा स्वास्थ्य विभाग मंत्री नरेंद्र शिवाजी पटेल, कैबिनेट मंत्री तुलसीराम सिलावट, सांसद शंकर लालवानी, और इंदौर महापौर पुष्यमित्र भार्गव समेत कई गणमान्य व्यक्ति उपस्थित रहे।

एड्स के खिलाफ भारत की प्रतिबद्धता

केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री ने कहा कि विश्व एड्स दिवस एचआईवी और एड्स के प्रति जागरूकता फैलाने और इसे खत्म करने के लिए समर्पण का दिन है। उन्होंने जोर देकर कहा, “हमारे देश में एचआईवी के खिलाफ जागरूकता और इलाज के प्रयास व्यापक हैं। हम अपने कार्यक्रमों को ट्राइबल इलाकों और पारंपरिक प्रथाओं के अनुसार कस्टमाइज कर रहे हैं, ताकि हर व्यक्ति तक पहुंच बनाई जा सके।”

मेडिकल इंफ्रास्ट्रक्चर में ऐतिहासिक सुधार

स्वास्थ्य मंत्री ने बताया कि मध्यप्रदेश में पहले केवल 5 मेडिकल कॉलेज थे, लेकिन प्रधानमंत्री मोदी के नेतृत्व में यह संख्या 31 तक पहुंच गई है। 14 नए मेडिकल कॉलेज हाल ही में छिंदवाड़ा, विदिशा, खंडवा, शिवपुरी, सतना, राजगढ़, सिंगरौली, और अन्य जिलों में स्थापित हुए। 29 अक्टूबर 2024 को पीएम ने नीमच, मंदसौर, और शिवानी में तीन नए मेडिकल कॉलेज का उद्घाटन किया। मेडिकल सीटों में 128% वृद्धि हुई है, जिससे छात्रों को अधिक अवसर मिल रहे हैं।

आयुष्मान भारत योजना का मिला लाभ 

उन्होंने आगे कहा कि देश की 40% आबादी को हर परिवार के लिए 5 लाख रुपए का स्वास्थ्य कवर मिला है। इसे अब 10 लाख रुपए तक बढ़ाया गया है।70 वर्ष से अधिक उम्र के लोगों को सालाना 5 लाख रुपए का अतिरिक्त हेल्थ कवरेज दिया जा रहा है, जिससे 6 करोड़ लोग और जुड़ेंगे।

‘जान है तो जहान है’ से ‘जान भी है, जहान भी है’ तक

स्वास्थ्य मंत्री ने कोरोना महामारी के दौरान भारत के प्रयासों को याद करते हुए कहा, “जब अमेरिका और यूरोप लॉकडाउन पर असमंजस में थे, तब प्रधानमंत्री मोदी ने पहले जनता कर्फ्यू और फिर लॉकडाउन लगाकर देश को तैयार किया। आईसीयू बेड्स और पीपीई किट्स का बड़े पैमाने पर उत्पादन हुआ। मास्क और सैनिटाइजर देश के कोने-कोने तक पहुंचाए गए। भारत ने 9 महीने के भीतर दो-दो वैक्सीन बनाकर दुनिया को दिखा दिया कि भारत अब आत्मनिर्भर है।” 

एड्स जागरूकता के आंकड़े

केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री ने एड्स जागरूकता के आंकड़े जारी करते हुए बताया कि 28,457 गांवों में जागरूकता अभियान चलाए गए। 21,724 सभाएं आयोजित की गईं। स्कूलों और कॉलेजों में रेड रिबन क्लब बनाए गए। 4,400 से अधिक एचआईवी संक्रमित मरीजों का इलाज शुरू किया गया।

स्वास्थ्य और विकास में भारत का नेतृत्व

स्वास्थ्य मंत्री ने कहा कि भारत आज न केवल एड्स बल्कि वैश्विक स्वास्थ्य चुनौतियों का समाधान देने में सक्षम है। उन्होंने वर्ल्ड हेल्थ असेंबली में भारत की अध्यक्षता का जिक्र करते हुए कहा, “भारत ने वैश्विक मंच पर आयुष्मान भारत और अन्य योजनाओं के जरिए अपना नेतृत्व स्थापित किया है।”

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