रायपुर। हिंदी भाषा के समकालीन महान लेखकों में से विनोद कुमार शुक्ल को PEN अमेरिका की ओर से PEN/नाबोकोव पुरस्कार से सम्मानित गया है. इस उपलब्धि पर मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने विनोद शुक्ल को बधाई देने के साथ-साथ पूरे छत्तीसगढ़वासियों को बधाई दी है. उन्होंने कहा कि यह घोषणा न केवल छत्तीसगढ़ के लिए बल्कि देश के लिए गर्व का विषय है.

1 जनवरी 1937 को राजनंदगांव में जन्मे शुक्ल ने प्राध्यापन को रोज़गार के रूप में चुनकर पूरा ध्यान साहित्य सृजन में लगाया. उनकी एकदम भिन्न साहित्यिक शैली ने परिपाटी को तोड़ते हुए ताज़ा झोंके की तरह पाठकों को प्रभावित किया, जिसको ‘जादुई-यथार्थ’ के आसपास की शैली के रूप में महसूस किया जा सकता है.

उनका पहला कविता संग्रह 1971 में ‘लगभग जय हिन्द’ नाम से प्रकाशित हुआ. 1979 में ‘नौकर की कमीज़’ नाम से उनका उपन्यास आया जिस पर फ़िल्मकार मणिकौल ने इसी से नाम से फिल्म भी बनाई. कई सम्मानों से सम्मानित विनोद कुमार शुक्ल को उपन्यास ‘दीवार में एक खिड़की ‘साहित्य अकादमी’ पुरस्कार प्राप्त हो चुका है.

मध्यवर्गीय जीवन की बहुविध बारीकियों को समाये उनके विलक्षण चरित्रों का भारतीय कथा-सृष्टि में समृद्धिकारी योगदान है. वे अपनी पीढ़ी के ऐसे अकेले लेखक हैं, जिनके लेखन ने एक नयी तरह की आलोचना दृष्टि को आविष्कृत करने की प्रेरणा दी है. आज वे सर्वाधिक चर्चित लेखक हैं. अपनी विशिष्ट भाषिक बनावट, संवेदनात्मक गहराई, उत्कृष्ट सृजनशीलता से श्री शुक्ल ने भारतीय वैश्विक साहित्य को अद्वितीय रूप से समृद्ध किया है.

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