कर्ण मिश्रा,ग्वालियर। बिल्डिंग मटेरियल सप्लायर का भुगतान नहीं होने से गुस्साए सप्लायर ने कंपनी के 2 कर्मचारियों को ग्वालियर बुलाकर 10 दिनों से बंधक बना रखा था. कंपनी ने जब एसएसपी को मेल भेजा, तो इसका खुलासा हुआ. जिसके बाद दोनों ही कर्मचारियों को सप्लायर के चंगुल से मुक्त कराया गया है. बधंक बने लोग छत्तीसगढ़ से ग्वालियर पहुंचे थे.

दरअसल ग्वालियर के महाराजपुरा स्थित डीडी नगर में रहने वाले मुन्ना तोमर और गजेंद्र तोमर ने दिल्ली की जीडीसीएल कंपनी के छत्तीसगढ़ के बालौदाबाजार जीएससीएल कंपनी को बिल्डिंग मटेरियल का सामान सप्लाई किया था. कंपनी ने 14 लाख का भुगतान नहीं किया तो सप्लायर गजेंद्र और मुन्ना ने बातचीत के लिए कर्मचारियों को ग्वालियर बुलाया. डीडी नगर स्थित एक घर में 10 दिन तक दोनों को बंधक बनाकर रखा.

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जब कंपनी के लोगों को इसका पता चला तो उन्होंने घटना की जानकारी ग्वालियर वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक अमित सांघी को मेल के जरिए दी. जानकारी लगते ही एसएसपी अमित सांघी ने एक टीम गठित कर मौके पर पहुंचाया, तो टीम को डीडी नगर स्थित बताए गए एक मकान में दो लोग मिले. जब उनसे पूछताछ की गई तो उन्होंने बताया कि वह 10 दिन पहले यहां कंपनी के हिसाब किताब को लेकर बातचीत करने आए थे, लेकिन उन्हें बंधक बना लिया गया.

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बंधक बनाए गए इंजीनियर प्रशांत प्रमाणिक और मोहम्मद मोदस्सिर सिद्दीकी का कहना है कि उन्हें यहां पर 14 लाख के हिसाब किताब के लिए बुलाया गया था, लेकिन उन्हें यहां बंधक बना लिया गया. इसके साथ ही मोबाइल छीन लिया गया. ताकि वह किसी से संपर्क न कर सकें. पुलिस ने दोनों को मुक्त करा कर वहां मौजूद एक चौकीदार को हिरासत में लिया है. फिलहाल पुलिस ने फरियादी की शिकायत पर मामला दर्ज कर बंधक बनाने वाले आरोपियों की तलाश शुरू कर दी है.

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