Shimla Mirch ki Kheti: रायपुर. कबीरधाम जिला अब शिमला मिर्च के लिए अपनी पहचान बनाने की कोशिश कर रहा है. यहां के युवा किसान शिमला मिर्च की फसल लगा रहे है. उत्पादन इतना होता है की शिमला मिर्च की सप्लाई नेपाल तक हो रही है.

युवा किसान दिलेश्वर साहू ने बताया हैं कि पारंपरिक खेती जैसे टमाटर, मिर्ची में आमदनी कम नजर आ रहा था. लोकल फसल का भाव भी स्थानीय स्तर पर कम था. इस वजह से परंपरागत खेती से हटकर अलग किस्म की खेती करने का मन बनाया. मेट्रो सिटी में डिमांड को देखते हुए शिमला मिर्च लगाना शुरू किया.

साल भर बनी रहती है डिमांड (Shimla Mirch ki Kheti)

हमारे देश में बोई जाने वाली विभिन्न प्रकार की सब्जियों में शिमला मिर्च (कैपसीकम) का अपना एक महत्वपूर्ण स्थान है. भारत में शिमला मिर्च की खेती लगभग 4780 हैक्टयर में की जाती है तथा वार्षिक उत्पादन 42230 टन प्रति वर्ष तक का प्राप्त होता है. किसान भाई शिमला मिर्च की उन्नत किस्मों की खेती करके अच्छा लाभ कमा सकते हैं. शिमला मिर्च लाल, पीली, बैंगनी, नारंगी और हरी रंग की होती हैं. इन सभी की साल भर डिमांड बनी रहती है.

शिमला मिर्च की उन्नत किस्में (Shimla Mirch ki Kheti)

इन्द्रा : यह संकर किस्मों में शामिल है. शिमला मिर्च की इस किस्म के पौधे मध्यम ऊंचाई के होते हैं. इस किस्म की मिर्च मोटी व गुदे वाली होती है.

ओरोबेल (येलो मिर्च) : इस किस्म की खेती मुख्यता ठंड के मौसम में की जाती है. इस किस्म की खेती ग्रीन हाउस के साथ-साथ खुले खेत में भी सफलतापूर्वक की जा सकती है.

सोलन हाइब्रिड 2 : यह किस्म अधिक पैदावार देने वाली किस्मों में से एक है.इन शिमला मिर्च की किस्मों के अलावा हमारे देश में शिमला मिर्च की कई अन्य किस्मों की खेती भी बड़े पैमाने पर की जाती है. जिनमें भारत, ग्रीन गोल्ड, सोलन हाइब्रिड 1, यलो वंडर, कैलिफोर्निया वंडर, अर्का गौरव, अर्का मोहिनी, हरी रानी, किंग ऑफ नार्थ, आदि किस्में शामिल हैं.

शिमला मिर्च की खेती का उपयुक्त समय (Shimla Mirch ki Kheti)

हमारे देश में मौसम के अनुसार शिमला मिर्च की खेती का समय एक वर्ष में 3 बार की जा सकती है. इसकी पहली बुआई जून से जुलाई के महीने तक, दूसरी बुआई अगस्त से सितंबर के महीने तक और तीसरी बुआई नवंबर से दिसंबर के महीने तक की जा सकती है.