दिल्ली. किसी राज्य द्वारा लोगों या विभिन्न संस्थाओं से जो धन लिया जाता है उसे कर या टैक्स कहते हैं।टैक्स सरकार की आय का एक साधन है। इन पैसों से सरकार लोगों के लिए देश में निर्माण और अन्य जरूरी सेवाएं उपलब्ध कराती है। टैक्स भी कई तरह के होते हैं जैसे हमारी आमदनी पर लगने वाला टैक्स, घर और जमीन पर लगने वाला टैक्स और बिजली और पानी पर लगने वाला टैक्स। आश्चर्य करने वाली बात तो ये है की दुनिया में इन टैक्स से अलग भी कुछ अजीबोगरीब टैक्स लगाए गए हैं।

1821 में अमेरिका के मिसूरी में कुंवारे लड़कों पर टैक्स लगाया गया था। लड़कों को 1 डॉलर बैचलर टैक्स के तौर पर देना पड़ता था। इस टैक्स का मकसद लोगों को शादी के लिए प्रेरित करना था। इसके साथ ही कई और देशों में लड़कों पर टैक्स लगाने का इतिहास रहा है जिसकी शुरुआत 9वीं सदी में हुई थी। जानिए दुनिया के उन देशों के बारे में जहां कुंवारे लड़कों पर टैक्स लगाया गया था।

यहां मानना था कि शादीशुदा लोगों के मुकाबले कुंवारे लोग का व्यवहार अनैतिक होता है। बैचलर टैक्स को लेकर मिशिगन के लोगों ने विरोध भी किया था। उनका तर्क था कि अगर कुंवारे पुरुषों पर टैक्स लग सकता है तो फिर कुंवारी महिलाओं पर भी टैक्स लगना चाहिए। 1934 में कैलिफॉर्निया में 25 डॉलर बैचलर टैक्स लगाने का प्रस्ताव रखा गया था।लेकिन प्रस्ताव को आगे नहीं बढ़ने दिया गया और यह लागू नहीं हुआ।

रोम में 9वीं सदी के सम्राट ऑगस्ट्स ने बैचलर टैक्स लगाया था। यह बैचलर टैक्स कुंवारों और विवाहित बेऔलाद दंपतियों के लिए था। एक ओर इसका मकसद लोगों को बच्चा पैदा करने के लिए प्रेरित करना था तो दूसरी ओर अनैतिक व्यवहार को भी रोकना था। यह सरकार के लिए पैसा जुटाने का भी बेहतरीन तरीका साबित हुआ।

साल 1695 में इंग्लैंड और फ्रांस के युद्ध के दौरान इंग्लैंड को पैसा जुटाने की जरूरत पड़ी। सरकारी खजाने की आमदनी बढ़ाने के मकसद से इंग्लिश क्राउन ने मैरिज ड्यूटी ऐक्ट लागू किया। इस कानून के मुताबिक, 25 साल से ज्यादा उम्र के सभी कुंवारों को एक निर्धारित राशि टैक्स के तौर पर देनी पड़ती थी।