विक्रम मिश्र, लखनऊ. उत्तर प्रदेश में संगठन बड़ा की सरकार के मुद्दे पर छिड़ी रार तो आपको याद ही होगी. जहां केशव और योगी के बीच संगीनों से तलवार बाहर निकल आई थी. लेकिन अब इस मसले पर पटाक्षेप हो गया है. सदस्यता अभियान ने संगठन का दंभ भरने वाले सभी पदाधिकारियों को पीछे छोड़ दिया है.

सदस्यता अभियान के तहत प्रथम चरण में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने लगभग 54 हजार नए सदस्य बनाए हैं तो वहीं कद्दावर नेता और प्रदेश के उपमुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य महज 1555 सदस्य ही बनाने में कामयाब हुए है. बड़ी बात तो ये है कि प्रदेश संगठन के मुखिया और प्रदेश अध्यक्ष भूपेंद्र चौधरी ने तो सिर्फ 184 सदस्य ही भाजपा की झोली में डाले हैं. विधानसभा चुनाव और लोकसभा चुनाव में जिन प्रत्याशियों को हार का सामना करना पड़ा है वो इस अभियान से दूरी बनाए बैठे हुए हैं.
बता दें कि 2 से 16 सितम्बर तक चले सदस्यता अभियान का रिपोर्ट कार्ड राष्ट्रीय नेतृत्व को भेजा गया है. जिसमें उक्त बातें सामने आई हैं.

इसे भी पढे़ं : ‘Water and terrorism don’t flow together’ : एक एक बूंद पानी के लिए तरसने वाला है पाकिस्तान ! J&K में गरजे ‘बाबा’, कह दी ये लाइन

ऐसे तो कठिन होगी 27 कि राह

सदस्यता अभियान के कार्यक्रम में 28 मंत्री ऐसे है जिन्होंने अब तक 1 हजार सदस्य भी नहीं बनाये हैं. इसके अलावा संगठन के कई पदाधिकारी भी अबतक दहाई के आंकड़े के पार करने में असफल होते दिख रहे है. सदस्यता अभियान के लिए टारगेट दिया गया था. सांसद 20 हजार नए सदस्य, विधायक 10 हजार इसप्रकार ही अन्य पदाधिकारियों को भी टारगेट दिया गया था.

दिग्गजों को भी नहीं मिल रहे नए सदस्य

केशव मौर्य- 1555
स्वतंत्र देव सिंह- 1474
दारा सिंह- 304
सूर्यप्रताप शाही- 311
धर्मपाल सिंह- 305
बेबी रानी मौर्य- 2504
अब ये आंकड़ा देखकर भजपा भी बहुत संतुष्ट नहीं होगी.