विक्रम मिश्र, लखनऊ. महाकुंभ में विश्व का सबसे बड़ा भक्ति का समागम होने वाला है. ऐसे में वहां पर चल रही हर गतिविधि पर देश समेत विदेशी मीडिया की भी नजर है. इस बीच महाकुंभ नगरी मेले में साधु संतों की ओर से लगाए गए होर्डिंग/पोस्टर का मौलाना शहाबुद्दीन रिजवी ने विरोध करते हुए सरकार से इस पर सख्त रुख अख्तियार करने की अपील की है.
मौलाना शहाबुद्दीन रिजवी के मुताबिक कुंभ मेला एक पवित्र मेला है, लेकिन यहां पर हो रही सियासत विवाद का विषय बन सकती है. मौलाना ने मेले में पहुंचने वाले अखाड़ा परिषदों के साथ-साथ प्रदेश सरकार से इस तरह की बातों को करने वालों पर रोक लगाये जाने की मांग की है.
बता दें कि महाकुंभ नगरी परिक्षेत्र में कुछ दिन पहले जगद्गुरु रामानंदाचार्य ने होर्डिंग लगवाए हैं. जिस पर लिखा है वक्फ के नाम पर संपत्ति की लूट है. धर्मनिरपेक्ष देश में यह कैसी छूट है? इसके अलावा इससे पहले भी जगद्गुरु रामानंदाचार्य ने एक और होर्डिंग लगवाई थी. जिसमें लिखा था डरेंगे तो मरेंगे. जिनको लेकर पूरे देश में खूब चर्चा हुई थी. बरेली के मौलाना ने अपील की है कि महाकुंभ मेला को हिंदू-मुस्लिम के अखाड़े का मेला ना बनाएं.
सनातन बोर्ड की मांग पर मेरा समर्थन- मौलाना
इधर बरेली के मौलाना शहाबुद्दीन रिज़वी ने कहा कि वक्फ की सम्पत्ति में जमीन का एक-एक टुकड़ा मुस्लिमों ने दिया है न कि किसी भी गैर बिरादरी ने. ऐसे में मंदिरों मठों की संपत्ति भी सरकार की नजर में आनी चाहिए. साथ ही सनातन बोर्ड की मांग अगर उठ रही है तो मेरा समर्थन पूरी तरह से है. इससे मठ-मंदिरों की समपत्ति पर सरकार की नजर रहेगी. जैसे कि वक्फ पर पूरा नियंत्रण सरकार का होता है.
- छत्तीसगढ़ की खबरें पढ़ने यहां क्लिक करें
- उत्तर प्रदेश की खबरें पढ़ने यहां क्लिक करें
- लल्लूराम डॉट कॉम की खबरें
- English में पढ़ने यहां क्लिक करें
- खेल की खबरें पढ़ने के लिए यहां क्लिक करें
- मनोरंजन की बड़ी खबरें पढ़ने के लिए करें