गोपालगंज । सऊदी अरब में काम करने गए बिहार के दो दर्जन से अधिक भारतीय मजदूर पिछले आठ महीनों से बिना वेतन और कठिन परिस्थितियों में जीवन जी रहे हैं। इन मजदूरों की स्थिति बहुत ही गंभीर है, और उनके परिजन सरकार से उनकी जल्द और सुरक्षित वापसी की मांग कर रहे हैं।
सरकार से मदद की गुहार लगाई
सऊदी अरब में काम करने गए बिहार के ये मजदूर पिछले कई महीनों से बगैर वेतन के काम कर रहे हैं। साथ ही, उनके रहने और खाने-पीने की परिस्थितियां भी बेहद खराब हैं। मजदूरों की स्थिति को लेकर उनके परिजनों ने स्थानीय प्रशासन और सरकार से मदद की गुहार लगाई है।
भारत वापस लाया जाए
इन मजदूरों के परिजन सरकार से अनुरोध कर रहे हैं कि उनके रिश्तेदारों को सऊदी अरब से सुरक्षित भारत वापस लाया जाए। वे इस कठिन समय में सरकार से जल्द से जल्द उनकी सहायता की उम्मीद कर रहे हैं।
कोई स्पष्ट जानकारी नहीं मिली
बिहार सरकार और केंद्रीय विदेश मंत्रालय ने मामले को गंभीरता से लिया है और मदद के लिए प्रयास कर रहे हैं। परंतु, मजदूरों की वापसी को लेकर अभी तक कोई स्पष्ट जानकारी नहीं मिली है।
मानसिक और शारीरिक रूप से परेशान हो गए
मजदूरों के अनुसार, उन्हें न तो समय पर वेतन दिया गया और न ही उनके रहने की उचित व्यवस्था की गई। इसके कारण वे मानसिक और शारीरिक रूप से परेशान हो गए हैं।
मजदूरों की जिंदगी इन दिनों संकट में
सऊदी अरब के यानबू शहर में स्थित एक निजी कंपनी में काम कर रहे बिहार के कई मजदूरों की जिंदगी इन दिनों संकट में है। इनमें गोपालगंज जिले के मांझा प्रखंड के कविलाशपुर गांव निवासी इम्तेयाज आलम के बेटे शाह आलम व जिले के अन्य कई मजदूर भी फंसे हुए हैं। इनमें फतेहपुर के दिलीप चौहान, दहीभत्ता के शलेश कुमार, गढ़ धमापाकड़ के बैजनाथ साह, बालेपुर बथुआ के ओमप्रकाश, एकडंगा भगवानपुर के बलिंदर सिंह और राजेंद्र नगर के शैलेश चौहान आदि शामिल है।
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