जुबैर अंसारी/ सुपौल। जिला प्रशासन ने भ्रष्टाचार के खिलाफ एक और कड़ा कदम उठाया है। जिलाधिकारी सावन कुमार ने शुक्रवार को राघोपुर अंचल कार्यालय में औचक निरीक्षण के दौरान एक राजस्व कर्मचारी को रंगे हाथों भ्रष्टाचार के मामले में गिरफ्तार करवा दिया। इस कार्रवाई से पूरे विभाग में हड़कंप मच गया है।
शिकायत मिली थी
जानकारी के अनुसार, डीएम को राजस्व कर्मचारी नवीन कुमार के खिलाफ शिकायत मिली थी कि उसने मोटी रकम लेकर भूमि विवरण (मूल पंजी-2 और ऑनलाइन-1) में हेराफेरी की है। डीएम ने मामले को गंभीरता से लेते हुए स्वयं राघोपुर अंचल कार्यालय पहुंचकर जांच की। जैसे ही आरोपों की पुष्टि हुई, उन्होंने पहले से तैनात राघोपुर थानाध्यक्ष को कर्मचारी को गिरफ्तार करने का आदेश दिया। इसके बाद अंचलाधिकारी रश्मि कुमारी ने थाने में लिखित तहरीर देकर प्राथमिकी दर्ज कराई, जिसके आधार पर नवीन कुमार को जेल भेज दिया गया।
जमीन घोटाले का मामला
मामला राघोपुर प्रखंड के मोतीपुर पंचायत अंतर्गत मौजा मोतीपुर का है, जहां सरकारी गैर-मजरूआ दस कट्ठा जमीन (तालाब की भूमि) को नवीन कुमार ने गलत तरीके से सौमित्र कुमार झा नामक व्यक्ति के नाम दर्ज कर दिया था। इतना ही नहीं, उसने बाद में उसी जमीन को अपने भतीजे के नाम पर खारिज करवा दिया। अब उक्त व्यक्ति उस सरकारी जमीन पर अधिकार जताने लगा है।
प्रमोशन भी करा लिया था
सूत्रों के मुताबिक, नवीन कुमार ने इस पूरे खेल को पैसे और सिफारिश के बल पर अंजाम दिया और खुद को प्रमोट करवा कर मधुबनी जिले में राजस्व अधिकारी के पद पर स्थानांतरित भी करवा लिया था। लेकिन किस्मत ने साथ नहीं दिया और डीएम की सख्ती के कारण उसे जेल जाना पड़ा।
क्या बोले डीएम
डीएम सावन कुमार ने कहा कि भ्रष्टाचार किसी भी सूरत में बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। चाहे वह किसी भी पद पर हो, दोषियों पर कड़ी कार्रवाई की जाएगी।
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