सत्यपाल सिंह राजपूत,रायपुर। 1 नवबंर को छत्तीसगढ़ राज्य स्थापना दिवस है.पूरे प्रदेश में राज्योत्सव को हर्षोल्लास के साथ मनाया जाता है. जिसकी तैयारियों का जायजा लेने आज गृहमंत्री ताम्रध्वज साहू राज्योत्सव स्थल पहुंचे है. उत्सव स्थल पर पहुंचकर गृहमंत्री ने निरीक्षण किया. जहां उन्होंने सुरक्षा व्यवस्था, पार्किंग व्यवस्था पर जोर देते हुए अधिकारियों को आवश्यक निर्देश भी दिए. व्यवस्थाओं को देखकर गृहमंत्री ताम्रध्वज साहू पूरी तरह से संतुष्ट दिखे.आईजी आनंद छाबड़ा के साथ एसएसपी आरिफ शेख ने गृहमंत्री को सुरक्षा से लेकर कार्यक्रम की रूप रेखा की जानकारी दी.
राज्य स्थापना दिवस की तैयारियों को लेकर गृहमंत्री ने कहा कि व्यवस्था में किसी भी प्रकार की कोई कमी नही रखी जाएगी. भूपेश सरकार ने बम्बईय्या कलाकारों की छुट्टी कर दी है. उनकी जगह स्थानीय कलाकारों को जगह मिल रही है. वहीं गृहमंत्री ने कहा ने कहा कि सोनिया गांधी के आने की जानकारी नही आ रही है. इसकी जानकारी हाईकमान से नही मिली है.
मंत्री ताम्रध्वज साहू ने कहा कि छत्तीसगढ़ राज्य बनने के बाद लगातार राज्योत्सव होता रहा है लेकिन भूपेश सरकार का यह पहला राज्योत्सव है उसकी तैयारियों को आज देखने आया हूँ. और देखा कल एक तारीख़ को राज्योत्सव का शुभारंभ होना है. विशेषकर पुलिस प्रशासन की तैयारियों में ट्रैफ़िक आने-जाने वाली कोई भी व्यवस्था कहां से आएंगे कहां से जाएंगे, कहां बैठेंगे, गाड़ियां कहां पार्किंग होगी. सारी व्यवस्थाओं की तैयारी देखी है. तैयारियां अंतिम चरण में हैं. यहां सरकार की तमाम विभागों की योजनाओं को जनता से रूबरू कराने के लिए स्टॉल लगाया गया है. व्यक्तिगत नेशनल लेवल के इंडस्ट्री कंपनियां हैं उनके भी स्टॉल लगाए गए हैं.
इस समय सरकार और संगठन में ज़बरदस्त उत्साह है हमारे इन नौ महीनों के कार्यकाल में लगातार काम हो रहे हैं. कांग्रेस पार्टी की कार्यकारी अध्यक्ष सोनिया गांधी के हाथों कार्यक्रम का शुभारंभ होना था. अभी क्लियर नहीं हुआ है जब वहां से सूचना आ जाएगी की नहीं आ रही है तब माना जाएगा कि नहीं आ रही हैं. मुझे नहीं लगता कि स्थानीय कलाकारों की उपेक्षा हो रही है सरकार ने जैसे घोषणा किया था वैसे बम्बई से आने वाले कलाकारों को आने में रोक लगा दी गई है. स्थानीय कलाकारों को ही जगह दी जा रही है बाक़ी किस को बुलाया किसको नहीं बुलाएं. ये सब संस्कृति विभाग बताएगा. हमें कार्यक्रम कम करना और समितियां ज़्यादा है तो लोग छूटेंगे ही.