नए साल से पहले लोगों के लिए राहत की खबर आई है. इंद्रप्रस्थ गैस लिमिटेड (IGL) ने दिल्ली-एनसीआर में पीएनजी के दाम कम कर दिए हैं. भारत की प्रमुख सीएनजी रिटेलर कंपनी इंद्रप्रस्थ गैस लिमिटेड (IGL) ने बुधवार को आने वाले नए साल के लिए दिल्ली और एनसीआर के उपभोक्ताओं के लिए घरेलू पाइप्ड नेचुरल गैस (PNG) की कीमतों में बड़ी कटौती का ऐलान किया है. कंपनी ने कीमतों में ₹0.70 प्रति स्टैंडर्ड क्यूबिक मीटर (SCM) की कमी की है. नए साल से पहले IGL (इंद्रप्रस्थ गैस लिमिटेड) ने PNG (पाइप्ड नेचुरल गैस) की कीमतों में कटौती की है. दिल्ली और एनसीआर में PNG की कीमत ₹0.70 प्रति SCM होगी. कीमतों में कटौती के बाद दिल्ली में ₹47.89 प्रति SCM, गुरुग्राम में ₹46.70 प्रति SCM और नोएडा-ग्रेटर नोएडा और गाजियाबाद में ₹47.76 प्रति SCM कीमत होगी. एक सोशल मीडिया पोस्ट में इसकी जानकारी साझा की गई.
सरकार का लक्ष्य है कि साल 2030 तक ग्रामीण और शहरी इलाकों में 12.5 करोड़ PNG कनेक्शन देना है. भारत में गरीब लोगों की साफ-सुथरे खाना पकाने वाले गैस तक पहुंच सीमित है. आज भी कई लोग खाना बनाने के लिए कोयला, लकड़ी और गोबर के उपले का इस्तेमाल करते हैं. यह न सिर्फ खाना बनाने वालों के लिए नुकसानदायक है, बल्कि पर्यावरण के लिए भी हानिकारक है. कुछ साल पहले तक एलपीजी सिलेंडर सिर्फ शहरी और अर्ध-शहरी इलाकों में, वह भी बेहतर आय वर्ग के लोगों तक ही सीमित थे.
कंपनी ने आगे बताया कि कीमतों में यह कटौती पेट्रोलियम और प्राकृतिक गैस नियामक बोर्ड द्वारा हाल ही में गैस पाइपलाइन शुल्क व्यवस्था में किए गए बदलाव के बाद की गई है. इससे पहले थिंक गैस ने भी कई राज्यों में सीएनजी और पीएनजी की कीमतों में कटौती की घोषणा की थी. नियामक बोर्ड ने 16 दिसंबर को प्राकृतिक गैस ले जाने वाली पाइपलाइन के लिए नई और सरल शुल्क व्यवस्था की घोषणा की थी. प्राकृतिक गैस का इस्तेमाल बिजली उत्पादन, उर्वरक विनिर्माण, वाहन ईंधन और और घरेलू रसोई में किया जाता है.
पाइप से मिलने वाली गैस सुविधाजनक होती है, क्योंकि इसमें सिलेंडर संभालने, भरवाने और बदलने की जरूरत नहीं होती. यह ज्यादा किफायती भी होती है, क्योंकि इससे परिवहन का खर्च कम होता है और यह ज्यादा सुरक्षित भी है. इसमें गैस की सप्लाई लगातार मिलती रहती है और गैस खत्म होने की झंझट भी नहीं रहती. पीएनजी कनेक्शन देना सिटी गैस डिस्ट्रीब्यूशन नेटवर्क के विकास का हिस्सा है. यह काम पेट्रोलियम और नेचुरल गैस रेगुलेटरी बोर्ड (PNGRB) की ओर से तय किए गए मिनिमम वर्क प्रोग्राम (MWP) के लक्ष्यों और तकनीकी-व्यावसायिक व्यवहार्यता के अनुसार अधिकृत संस्थाओं की ओर से किया जाता है.
Follow the LALLURAM.COM MP channel on WhatsApp
https://whatsapp.com/channel/0029Va6fzuULSmbeNxuA9j0m
- छत्तीसगढ़ की खबरें पढ़ने यहां क्लिक करें
- उत्तर प्रदेश की खबरें पढ़ने यहां क्लिक करें
- लल्लूराम डॉट कॉम की खबरें English में पढ़ने यहां क्लिक करें
- खेल की खबरें पढ़ने के लिए यहां क्लिक करें
- मनोरंजन की बड़ी खबरें पढ़ने के लिए करें क्लिक


