रायपुर. राजधानी के एक्सप्रेस-वे निर्माण में लापरवाही बरतने के मामले में जल संसाधन विभाग के कार्यपालन अभियंता सतीश कुमार जाधव को निलंबित कर दिया गया है. निलंबन अवधि में इनका मुख्यालय महानदी परियोजना जल संसाधन विभाग में निर्धारित किया गया है. निलंबन अवधि में इन्हें नियमानुसार जीवन निर्वाह भत्ते की पात्रता होगी. बता दें कि सतीश कुमार 5 मार्च 2015 से 6 मार्च 2019 तक प्रतिनियुक्ति अवधि पर छत्तीसगढ़ रोड डेव्हलपमेंट कार्पोरेशन लिमिटेड में परियोजना प्रबंधक एवं उप महाप्रबंधक के रूप में पदस्थ था.
लोक निर्माण विभाग द्वारा निर्माणाधीन रायपुर रेलवे स्टेशन-फाफाडीह-तेलीबांधा-केन्द्री एक्सप्रेस-वे में पाई गई अनियमितताओं के कारण पीडब्ल्यूडी मंत्री ताम्रध्वज साहू ने सदन में दोषी अधिकारियों को निलंबित किये जाने की घोषणा की थी. पीडब्ल्यूडी मंत्री ने इससे पहले 6 अधिकारियों डीजीएम एसके जाधव, डिप्टी प्रोजेक्ट मैनेजर निषेश भट्ट, प्रोजेक्ट मैनेजर एससी आर्य, डिप्टी प्रोजेक्ट मैनेजर जतिन्द्र सिंह, असिस्टेंट प्रोजेक्ट मैनेजर विवेक सिन्हा और असिस्टेंट प्रोजेक्ट मैनेजर फरहाज फारूकी को निलंबित किया था.
जांच कमेटी का किया था गठन
एक्सप्रेस-वे के घटिया निर्माण को लेकर शासन ने जांच कमेटी का भी गठन किया था. जांच में कई खामियां पाई गई थी. जांच रिपोर्ट शासन के पास भेजी गई थी. इस रिपोर्ट में जिम्मेदारों के खिलाफ उचित कार्रवाई किए जाने की सिफारिश की गई थी. करीब 300 करोड़ की लागत से बनाए जा रहे एक्सप्रेस वे में तेलीबांधा ब्रिज का हिस्सा 11 अगस्त 2019 को धसक गया था. इसके बाद पीडब्ल्यूडी मंत्री ने मुख्य तकनीकी परीक्षक को जांच का जिम्मा सौंपा था. एनआईटी के एक्सपर्ट ने इसकी जांच की थी.