शब्बीर अहमद, भोपाल। मध्य प्रदेश की राजधानी भोपाल में व्यापारियों से हेराफेरी के मामले में दो कॉस्टेबल को नौकरी से बर्खास्त कर दिया गया है. इसके पहले मामले का खुलासा होने के बाद दोनों पुलिसकर्मियों को निलंबित किया गया था. जांच में आरोप सिद्ध हो जाने पर एसपी ने दोनों पुलिसकर्मियों पर कार्रवाई की है.
मामला राजधानी के अयोध्या नगर थाने का है. जहां थाना अयोध्या नगर के आरक्षक सुमित बघेल और विनोद रावत ने 10 जुलाई की रात इलाका गश्त के दौरान एक कंपनी के कर्मचारी से अवैधानिक रूप से 5 लाख रुपए की राशि जब्त की. जिसके बाद आरक्षकों ने थाना प्रभारी से पूरे मामले को छिपाकर रखा.
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आरक्षकों ने मामले को छिपाने के लिए झूठी कहानी रच ली थी. जिसके बाद थाना प्रभारी को बताया कि उनकी मोटरसाइकिल के बैग में 3 लाख रुपए स्कूटी सवार दो व्यक्ति चेकिंग के दौरान रखकर चले गए. जिसकी जानकारी कार्यवाहक थाना प्रभारी ने थाना रिकॉर्ड में उसी समय दर्ज की गई.
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दोनों आरक्षकों ने तीन संदेहियों के आधार पर हीरा व्यापारी के 5 लाख रुपए जब्त किए थे. जिसमें 3 लाख थाने में जमाकर दिए और बाकी बची हुई राशि को हड़पने की फिराक में थे. इसके लिए आरक्षकों ने बकायदा कहानी भी रच डाली.
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पूरे मामले की जानकारी पुलिस अधिकारियों को लगने पर आरक्षकों पर कार्रवाई करते हुए निलंबित कर दिया गया था. दोनों आरक्षक सुमित बघेल और विनोद रावत के खिलाफ विभागीय कार्रवाई के जांच की जा रही थी. जांच में दोषी पाए जाने के बाद एसपी ने आरक्षक विनोद रावत और आरक्षक सुमित बघेल को बर्खास्त कर दिया है.
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