संजय विश्वकर्मा, उमरिया, शिवपुरी, अनूपपुर। ऊपर फोटो में दिख रहा यह चेहरा जितना खूबसूरत है, उतना इसका दिल साफ नहीं है. ये सांसों का सौदागर है. इसका नाम वीरेन्द्र त्रिपाठी है जो सीएमएचओ ऑफिस में बाबू के पद पर पदस्थ है. हालांकि अभी घूसखोरी के आरोप में सस्पेंड है. अस्पताल में ऑक्सीजन सिलेंडर के भंडारण के लिए एनओसी देने के लिए सप्लायर से ढाई लाख की घूस मांगी थी. अब इसके खिलाफ कलेक्टर ने एफआईआर दर्ज करने के निर्देश दिए हैं.
ये है पूरा मामला
दरअसल, कोरोना की तीसरी लहर आने के साथ ही मौत के सौदागर एक बार फिर से लाशों पर अपनी जेब भरने के लिए एक्टिव हो गए हैं. उमरिया सीएमएचओ ऑफिस में पदस्थ बाबू वीरेन्द्र त्रिपाठी ने अस्पताल में ऑक्सीजन सिलेंडर के भंडारण के लिए एनओसी देने सप्लायर से ढाई लाख की घूस मांगी थी. घूस नहीं देने पर अस्पताल में ऑक्सीजन सिलेंडर की खेप आने से रोक दी. जिसके बाद पचास हजार रुपए अपने बैंक खाता में ट्रांसफर कराया. सप्लायर ने इसकी शिकायत कलेक्टर से की. वहीं कलेक्टर ने जांच के बाद घूसखोर बाबू को सस्पेंड कर दिया था. अब इसके खिलाफ एफआईआर दर्ज की जाएगी.
घूसखोर बाबू वीरेन्द्र कुमार त्रिपाठी उर्फ बबलू के खिलाफ कलेक्टर ने FIR दर्ज कराने के आदेश दिए हैं. आरोपी बाबू ने ई-टेंडर खोलने ढाई लाख की रिश्वत मांगी थी. पचास हजार रुपए अपने बैंक खाता में ट्रांसफर कराया था. जांच में सत्यता पाए जाने पर कलेक्टर ने यह आदेश दिए हैं
नागरिक आपूर्ति के प्रबंधक 50 हजार घूस लेते गिरफ्तार
इधर, अनूपपुर में नागरिक आपूर्ति के प्रबंधक एमएस उपाध्याय को रंगे हाथ पचास हजार रुपए रिश्वत लेते हुए लोकायुक्त ने पकड़ा है. आरोपी अधिकारी ने ट्रांसपोटर से एलआरटी का वर्क आर्डर जारी कराने के एवज में रिश्वत मांगी थी. फौजी ट्रांसपोर्ट के संचालक मोहम्मद मसरूर हुसैन ने इसकी शिकायत लोकायुक्त में की थी. जिसके बाद यह कार्रवाई की गई है.
5 हजार रुपए रिश्वत लेते पटवारी गिरफ्तार
इधर, शिवपुरी में लोकायुक्त ने बदरवास में कार्रवाई करते हुए एक पटवारी को 5 हजार रुपए रिश्वत लेते हुए रंगेहाथों गिरफ्तार किया है. पटवारी ने फौती नामांतरण के बदले 8 हजार रुपए रिश्वत मांगी थी. पटवारी रन्नौद से रिश्वत के रुपए लेने के लिए बदरवास आया था तभी लोकायुक्त की टीम ने उसे दबोच लिया.
जानकारी के अनुसार रन्नौद में पदस्थ पटवारी जगदीश अहिरवार ने लगदा निवासी जगभान सिंह लोधी से फौती नामांतरण के बदले 8 हजार रुपये की रिश्वत मांगी थी. पिछले मंगलवार को जगभान ने पटवारी को 2 हजार रुपए दे भी दिए थे. इसके बाद जगभान ने इसकी शिकायत लोकायुक्त ग्वालियर में की. जिसके बाद टीम ने फरियादी को केमिकल लगे नोट दिए. पटवारी जगदीश अहिरवार रुपए लेने के लिए रन्नौद से अपने साथी बहादुर जाटव के साथ बदरवास आया था. उसने फरियादी को ठाठी हल्के पर पदस्थ पटवारी सुभाष मालवीय के कमरे पर बुलाया. जैसे ही फरियादी जगभान ने पटवारी को 5 हजार रुपये दिए तो लोकायुक्त की टीम ने उसे पकड़ लिया. पुलिस ने बहादुर को भी गिरफ्तार किया है. पटवारी ने उसी के जरिए रिश्वत मांगी थी।
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