कर्ण मिश्रा, ग्वालियर। ग्वालियर में 70 वर्षीय बुजुर्ग नारायणी देवी खुद को जिंदा साबित करने के लिए न्याय की हर दहलीज पर दस्तक दे रही है। क्योंकि उनका फर्जी मृत्यु प्रमाण पत्र बनवा कर मकान और प्लॉट के कागजों में हेरा फेरी की गई। फिर उनकी संपत्ति हड़पने की बात सामने आई है। ऐसा करने वाला उनके घर या परिवार के सदस्य नहीं बल्कि आरोप इलाके के पटवारी पर है। जिसने जालसाजी से जीवित महिला का मृत्यु प्रमाण पत्र बनाया और फिर वसीयत अपने नाम लिखवा ली।

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सिर्फ इतना ही नहीं वसीयत के बाद पटवारी ने मकान और प्लाट भी अपने नाम कर लिया। हैरानी की बात तो यह है एसपी ऑफिस में जिंदा खड़ी नारायणी देवी को पटवारी ने कुछ साल पहले ही मृत घोषित कर दिया। इसकी खबर ना तो नारायनी को लगी और ना ही उनके बेटे को।

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शहर की गोला का मंदिर इलाके में टेलीफोन एक्सचेंज के पास नारायणी का पुश्तैनी मकान है। ‌दो मंजिला इस मकान में कुछ दुकानें भी हैं जिसका किराया आता है। 2011 तक उनकी संपत्ति के कागजों में कोई गड़बड़ी नहीं थी लेकिन 28 जनवरी 2022 को जब कुछ सरकारी काम के लिए उनके बेटे ने ऑनलाइन चेक किया तो वह हैरान हो गया क्योंकि जो मकान उसकी मां के नाम था उसके आगे मकान मालिक का नाम भगवान सिंह लिखा हुआ है।

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भगवान सिंह यादव इलाके में पटवारी रहा है जो अब रिटायर हो चुका है। बुजुर्ग नारायणी का बेटा उनको लेकर एसपी ऑफिस पहुंचा तो पूरी घटना बताई। फिलहाल पुलिस ने शिकायत पर जांच का भरोसा दिया है।

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